लोकायुक्त पुलिस ने आदिम जाति कल्याण विभाग के असिस्टेंट कमिश्नर और अधीक्षक को 80 हजार की रिश्वत लेते पकड़ा
▪️ सवा साल में दूसरी दफा ट्रैप हुए
असिस्टेंट कमिश्नर राजेश सिंह परिहार
तीनबत्ती न्यूज :21 जुलाई ,2023
सीधी : लोकायुक्त पुलिस रीवा ने सहायक आयुक्त आदिवासी विभाग और प्राथमिक शिक्षक प्रभारी अधीक्षक छात्रावास प्रभारी टमसार को अस्सी हजार रुपये रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ा है। यह कार्रवाई शुक्रवार को सहायक आयुक्त के शासकीय निवास में की गई है। स्थानांतरण नहीं करने के एवज में रिश्वत की मांग की गई थी। जिसकी शिकायत लोकायुक्त कार्यालय रीवा में फरियादी द्वारा की गई थी। सहायक आयुक्त माध्यम बनाकर रिश्वत की मांग कर रहा था। सवा साल पहले भी राजेश सिंह परिहार शिवपुरी में 80 हजार की रिश्वत लेते पकड़े गए थे। जिसकी विवेचना जारी है। राजेश सिंह पर भ्रष्टाचार के ढेर आरोप लगते रहे है।
एक लाख की रिश्वत मांगी थी
एसपी लोकायुक्त रीवा गोपाल सिंह धाकड़ ने बताया कि उनके पास अशोक पांडे ने शिकायत की थी कि उनका दूसरे छात्रावास में तबादला करने के लिए सहायक आयुक्त राजेश सिंह परिहार और प्राथमिक शिक्षक प्रभारी छात्रावास अधीक्षक टमसार अनिरुद्ध पांडे ने एक लाख रुपए की मांग की है ।जिस पर 20 हजार रुपए कुछ दिन पहले पांडे को दिए गए। शिकायत की पुष्टि होने के बाद शुक्रवार की सुबह लोकायुक्त पुलिस के डीएसपी प्रवीण सिंह परिहार, निरीक्षक जियाउल हक सहित 12 सदस्यीय टीम रीवा से सीधी पहुंची। परिहार ने 80 हजार रुपए देने के लिए अपने शासकीय बंगले पर बुलाया। जैसे ही फरियादी ने उन्हें यह रुपए दिए, वैसे ही पुलिस ने परिहार और पांडे दोनों को यहीं से दबोच लिया।
फरियादी का आरोप हर हॉस्टल से लिया जाता है महीना
इधर इस कार्यवाही के बाद फरियादी ने लोकायुक्त पुलिस को बताया कि परिहार हर हॉस्टल से महीना भी लेते हैं। उन्होंने बताया कि जिले में 113 हॉस्टल हैं। इसमें से 200 छात्र-छात्राओं से कम की संख्या वाले हॉस्टल से हर महीने 50 हजार रुपया और दो सौ से ज्यादा छात्र एवं छात्राओं वाले हॉस्टल से एक लाख रुपए महीना लिया जाता है। लोकायुक्त पुलिस फरियादी के इस आरोप को लेकर भी जांच कर सकती है। बता दें कि अशोक पांडे छात्रावास अधीक्षक सिहावल का स्थानांतरण सिहावल से कहीं दूसरी जगह किया जा रहा था। जहां वह नहीं जाना चाहते थे।
MP : राज्य प्रशासनिक सेवा के 144 अफसरों के तबादले: संयुक्त / डिप्टी कलेक्टर के ट्रांसफर ▪️देखे :सूची
पहली बार भी 80 हजार में ट्रेप हुए राजेश सिंह परिहार
इसके पूर्व भी श्री राजेश सिंह परिहार जिला संयोजक जनजाति कार्य विभाग शिवपुरी में अपनी पदस्थापना के दौरान ₹80000 में अपने भृत्य अवधेश शर्मा के साथ 22 मार्च 2022 को रंगे हाथ पकड़े गए थे। यह कार्यवाही पुलिस अधीक्षक विशेष पुलिस स्थापना लोकायुक्त कार्यालय ग्वालियर संभाग ग्वालियर ने की गई थी जिसकी विवेचना की जा रही है।
शिवपुरी में ट्रैप राजेश सिंह
ये था शिवपुरी का मामला
ग्वालियर लोकायुक्त पुलिस ने कलेक्टर कार्यालय परिसर में आदिम जाति कल्याण विभाग के जिला संयोजक व भृत्य को पोहरी शासकीय अनुसूचित जाति उत्कृष्ट बालक छात्रावास के अधीक्षक से 80 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों दबोचने की कार्रवाई की थी। दोनो आरोपियों ने यह रिश्वत छात्रावास में रहने वाले बच्चों के खर्चे के 4 लाख रुपए देने की एवज में लिए थे।
लोकायुक्त टीआइ कविन्द्र सिंह चौहान ने बताया कि 9 मार्च को पोहरी शासकीय अनुसूचित जाति उत्कृष्ट बालक छात्रावास के अधीक्षक हेमराज (39)पुत्र हलकु सहरिया ने ग्वालियर लोकायुक्त कार्यालय में शिकायत दर्ज कराई थी, कि शिवपुरी आदिम जाति कल्याण विभाग के जिला संयोजक राजेश सिंह परिहार अपने भृत्य अवद्येश शर्मा के माध्यम से छात्रावास में पढऩे वाले बच्चों की शिष्यावृति(खाने-पीने का खर्चे ) की 4 लाख रुपए की राशि का भुगतान करने की एवज में 20 प्रतिशत कमीशन 80 हजार रुपए की मांग कर रहे है। शिकायत पर से पुलिस ने 16 मार्च को फरियादी व अपने आरक्षक को टेपरिकोर्डर के साथ शिवपुरी भेजा। यहां पर उसी दिन रिश्वत लेने की पूरी बातचीत रिकोर्ड की गई।
पुलिस ने 21 मार्च को इस मामले में जिला संयोजक राजेश सिंह परिवार व भृत्य अवद्येश शर्मा के खिलाफ भ्रष्टाचार अधिनियम की धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज कर योजनाबद्ध तरीके से मंगलवार 22 मार्च को शिवपुरी के कलेक्टर कार्यालय परिसर से 80 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए दबोच लिया था । खास बात यह है कि आरोपी जिला संयोजक परिहार को जनसुनवाई कक्ष से पुलिस ने पकड़ा।