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SAGAR: मूक बधिर से छेड़छाड़ का मामला, पीड़िता द्वारा राजीनामा करने के बाद भी आरोपी को 03 की सजा

SAGAR: मूक बधिर से छेड़छाड़ का मामला,  पीड़िता द्वारा राजीनामा करने के बाद भी आरोपी को 03 की सजा


सागर । मूकबधिर के साथ छेड़छाड़ करने वाले आरोपी को विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट) एवं नवम अपर सत्र न्यायाधीश, श्रीमती ज्योति मिश्रा जिला-सागर की अदालत ने दोषी करार देते हुये भा.दवि की धारा-354 के अंतर्गत 03 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 1000-/रूपये अर्थदण्ड से दंडित किया है मामले की पैरवी प्रभारी उप-संचालक(अभियोजन) श्री धमेन्द्र सिंह तारन  के मार्गदर्शन में सहायक जिला अभियोजन अधिकारी श्री मनोज कुमार पटैल ने की ।
घटना का संक्षिप्त विवरण इस प्रकार है कि अभियोक्त्री की मॉ ने रिपोर्ट लेख कराई कि दिनांक-13.05.2019 को सुबह करीब 10 बजे उसका बड़ा लड़का, बहू व लड़की शादी में गॉव गए थे। घर पर वह और उसकी लड़की अभियोक्त्री जो मूकबधिर है, बोलना नही जानती इशारांे में बात करती है, वह घर के अंदर काम कर रही थी तभी उसके देवर का लड़का जो उसी मकान में रहता है, अभियोक्त्री का बुरी नियत से हाथ पकड ़कर सीढ़ियों तरफ ले गया, अभियोक्त्री चिल्लाई तो वह पहुंची तो आरोपी ने बुरी नियत से अभियोक्त्री को पकड़े हुए था जिसे उसने छुड़ाया। इसके बाद आरोपी वहां से भाग गया। दिनांक-15.05.2019 को उसके लड़का, लड़की के वापस आने पर सारी बात बताई ।उक्त रिपोर्ट के आधार पर थाने पर प्रकरण पंजीबद्ध कर मामला विवेचना में लिया गया विवेचना के दौरान साक्षियों के कथन लेख किये गये , घटना स्थल का नक्शा मौका तैयार किया गया अन्य महत्वपूर्ण साक्ष्य एकत्रित कर थाना-मोतीनगर द्वारा भारतीय दण्ड संहिता, 1860 की धारा 376( 2 )(स), 376( 2 )()ि 354 एवं लैंगिक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम, 2012 की धारा धारा 5( द) सहपठित धारा 6, धारा 5( ा) सहपठित धारा 6, धारा 9( द ) सहपठित धारा 10 व धारा 9( ा) सहपठित धारा 10का अपराध आरोपी के विरूद्ध दर्ज करते हुये विवेचना उपरांत चालान न्यायालय में पेश किया। विचारण के दौरान अभियोजन द्वारा अभियोजन साक्षियों एवं संबंधित दस्तावेजों को प्रमाणित किया गया, एवं अंतिम तर्क के दौरान न्यायदृष्टांत प्रस्तुत किये गये और अभियोजन ने अपना मामला संदेह से परे प्रमाणित किया । प्रकरण में महत्वपूर्ण तथ्य यह है कि अभियोक्त्री द्वारा विचारण के दौरान आरोपी से राजीनामा कर लिया था, अभियोजन द्वारा महत्वपूर्ण न्याय-दृष्टांत पेश कर मामले को प्रमाणित किया। जहॉ विचारण उपरांत विशेष न्यायाधीश (पॉक्सो एक्ट) एवं नवम अपर सत्र न्यायाधीश, श्रीमती ज्योति मिश्रा जिला-सागर की अदालत ने आरोपी को दोषी करार देते हुये भा.दवि की धारा-354 के अंतर्गत 03 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 1000-/रूपये अर्थदण्ड से दंडित किया है। 
                                                                                                

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भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव में नृत्य कर आनंद मनाया वसुदेव बने मंत्री भूपेन्द्र सिंह ने▪️सकारात्मक विचार रखें, सोचें कि सब अच्छा होगा- नागर जी▪️खुरई में श्रीमद् भागवत कथा का चतुर्थ सोपान

भगवान श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव में नृत्य कर आनंद मनाया वसुदेव बने मंत्री भूपेन्द्र सिंह ने

▪️सकारात्मक विचार रखें, सोचें कि सब अच्छा होगा- नागर जी

▪️खुरई में श्रीमद् भागवत कथा का चतुर्थ सोपान

खुरई। भजन और भरोसा कभी कम मत होने देना। ठाकुर जी के हाथ में ही सब है यह भरोसा डिगने मत दो। सदैव सकारात्मक विचार रखें और सोचें कि अच्छा ही होगा। अच्छा न भी हो तो सोचें कि अभी समय नहीं आया होगा। भिखारी दस घरों में राम नाम लेकर भिक्षा मांगता है भिक्षा नहीं मिलती लेकिन दस बार के राम नाम के प्रताप से उसे ग्यारहवें घर में भोजन मिल जाता है। यही है भरोसे और पुण्य का विधान। संतश्री कमल किशोर नागर जी ने अपने दिव्य प्रवचन और भजनों की सरिता से यह सूत्र वचन कथा श्रावकों को भेंट किया। चतुर्थ सोपान की कथा समापन पर भगवान श्री कृष्ण जी का जन्मोत्सव भव्यता से मनाया गया। मुख्य यजमान दंपत्ति नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री भूपेंद्र सिंह वासुदेव के रूप में शिशु रूप भगवान को टोकरी में रख कर उत्सवी वातावरण में व्यास गादी की ओर लाए जहां श्रीमती सरोज सिंह जी ने देवकी मैया रूप में शिशु को दुलार किया। व्यास गादी से श्री नागर जी ने बधाई हो, बधाई हो कह कर शिशु कृष्ण को हाथों पर उठा लिया।


 संत श्री नागर जी ने कहा कि यह देह भजन के लिए है, भोगों के लिए नहीं है। इस देह से पाप मत करना। भजन में यही शक्ति है कि पुण्य बनता जाता है। नागर जी ने एक आख्यान बताया कि कालचक्र भगवान शंकर के पास हैं। भगवान विष्णु ने भगवान शिव की एक हजार सहस्र कमल दल से उनकी पूजा करने का संकल्प लिया। शिव जी ने लीला रची कि एक कमल का पुष्प कम पड़ गया। विष्णु जी ने यह देख अपने संकल्प को पूर्ण करने तुरंत अपना एक नेत्र कमल निकाल कर पूजा में अर्पित कर सहस्र संख्या पूरी कर दी। शिव जी ने प्रसन्न होकर अपना काल चक्र विष्णु भगवान को देकर कहा यह चक्र सदैव अपने हाथों में रखना।


          संतश्री ने दो समसामयिक उदाहरण देकर पुण्यों और पापों के परिणाम बताएं। उन्होंने बताया कि महाभारत युद्ध के पश्चात  गांधारी को जब यह पता लगा कि उसके भाई शकुनि ने अपनी कुनीति से गलत मार्ग दिखाते हुए उसके पुत्रों और राजवंश का नाश कराया है तब गांधारी ने अपने भाई शकुनि को श्राप दिया कि मेरी तरह तेरा भी वंश नष्ट हो जाएगा और तेरे राज्य की सत्ता कभी स्थिर नहीं रह पाएगी और रक्तपात होता रहेगा। यह देखिए कि शकुनि के राज्य में जो कि आज का अफगानिस्तान में है, कभी भी रक्तपात नहीं रुक सका और वहां सत्ता किसी की स्थिर नहीं रह पाती।

दूसरे उद्धरण में श्री नागर जी ने बताया कि लौह पुरुष सरदार वल्लभ भाई पटेल का भारत का प्रधानमंत्री बनना तय हो चुका था। राजनैतिक परिस्थितियां जैसी भी बनी हों लेकिन प्रारब्ध ने उनके हिस्से बड़े पद के बजाए ऊंचा काम करना लिखा था। देखिए कि  भारत का एकीकरण करके वे गये। इसी भारत भूमि के जन जन ने अपने घरों से लोहा एकत्रित किया और सरदार वल्लभभाई पटेल की प्रतिमा ऐसी बनाई कि विश्व में उनकी कीर्ति को सबसे ऊंचा कर दिया।  समय समय पर होत है समय समय की बात, किसी समय का दिन बड़ा किसी समय की बात।
श्री नागर जी ने कहा कि गुरु से बड़ा परम तत्व कोई नहीं। गुरू तत्व ही दाग धो देता है, वहीं शिवतत्व है। कोई कहे कि हम कथा सुनाते हैं तो मानना कि कथा मनुष्य से नहीं होती,कथा गुरु ही सुनाता है। शिव तत्व से कथा होती है। मनुष्य से मनुष्य का दुख कभी नहीं कटता। किसी मनुष्य को हम भगवान बना देते हैं तो वह न भक्त रह जाता है और न ही भगवान रह जाता है। तंत्र झाड़ फूंक करने वाले गुरुओं से दुख दूर नहीं होते बल्कि वे हमारी अज्ञानता का मजा लेते हैं। दुख तो भजन से ही दूर होते हैं। कैसा भी अच्छा बुरा प्रारब्ध हो यूं किसी से कैसे भी दबा कर नष्ट मत करवाओ बल्कि समय की प्रतीक्षा करो। रोग को जड़ से मिटाना है ढांकना नहीं है। समय से पहले सुधरेगा भी नहीं। हमारा पूर्वजन्म के कर्मों का हासिल कटने दो। अभी कथा सुनने का समय है, जिस दिन समय आएगा सुधर जाएगा।  अतः अपने आर्तनाद और अपनी पुकार को जारी रखना इसी पर परमात्मा कृपा करता है।
       संत श्री नागर जी ने युवा पीढ़ी को संदेश देकर कहा कि आस्थावान बनो। भारतभूमि से आस्था कभी कम नहीं हो इसलिए यहां की मिट्टी से और यहां के धर्मस्थानों से जुड़े रहो। गुरुजन, वृद्धजन, अनुभवी जन, देव पुरुषों के सत्संग में रहो। ऐसी सभा और ऐसा घर शोभा नहीं देता जहां वृद्ध न हों। वृद्धजनों की डांट से भी घर परिवार में आभा और आशीर्वाद बना रहता है, अतः इनको अपने पास रखो। उनका स्वभाव कैसा भी क्यों न हो, हमारा कर्तव्य है कि वे बोलें हम सुनते रहें, वे डांटे और हम सहते रहें।

        श्री नागर जी ने कहा कि परिवारों में धर्म, भजन, माला के संस्कार हैं और परिवार का कोई संदेह उठाता है कि इतने वर्षों से किया फिर भी क्या हासिल हुआ तो यह नास्तिकता की शुरुआत है। इसे बढ़ने मत दो। अभी का बिगड़ा कल और बिगड़ता चला जाएगा।  और गिरते गिरते नाली के कीड़े तक पहुंच जाएगा। हम यह न सोचें कि यह सब किया अकारथ जाएगा। पांडु देश के ज्ञानी राजा ने अपने पूर्वजन्म की अल्प त्रुटि से हाथी के रूप में जन्म लिया। नदी में जलक्रीड़ा के दौरान विशाल काय मगर ने उसका पैर खींच कर गहरे पानी में डुबा दिया। मझधार में सारे प्रयास निष्फल हो गये तब उसने गोविंद जी को पुकारा कि प्रभु अब आप ही एक सहारा हो और गोपाल जी तत्क्षण उसके पूर्वजन्म के सत्कर्मों को उसके जीवन में जोड़ कर मगर का सिर काट कर भी उसे बचा लिया। तो हमें इसी भाव से रहने चाहिए कि हे प्रभु जीवन आपके हाथ में है जैसा कहोगे बिना शिकायत गुजार देंगे बस मेरा मरण सुधार देना।  

       कथा समापन पर मुख्य यजमान मंत्री श्री भूपेंद्र सिंह और श्रीमती सरोज सिंह के पूरे परिवार और उपस्थित कथा पंडाल ने कृष्ण जन्म का आनंदोत्सव नृत्य उल्लास से मनाया। श्रद्धालु जन पिता वासुदेव पर फूलों की वर्षा कर रहे थे। संत श्री नागर जी की प्रसन्नता और संतोष बधाई हो, बधाई हो के रूप में गूंज रहा था।


ये रहे मोजूद

आज कथा पंडाल में बीना विधायक महेश राय, महापौर प्रतिनिधि डा सुशील तिवारी, पूर्वमंत्री नारायण कबीर पंथी, बुंदेल सिंह बुंदेला, रंजोर सिंह बुंदेला शाहगढ़, विधायक कुरवाई श्री हरिसिंह सप्रे, पूर्व विधायक कुरवाई वीर सिंह पंवार, मंत्री प्रतिनिधि लखन सिंह, अभिराज सिंह, पृथ्वी सिंह, रामनिवास माहेश्वरी, काशीराम टेलर मास्टर, बलराम यादव, देशराज यादव, नीतिराज पटेल, प्रफुल्ल बोहरे, सौरभ नेमा, लक्ष्मण सिंह लोधी, सभी वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी, समस्त पार्षद, भाजपा पदाधिकारी व कार्यकर्ता, आयोजन समिति के सदस्यों, कार्यकर्ताओं, हरे राम माधव समिति सहित कई स्वयंसेवी संगठन और हजारों की संख्या में कथाप्रेमी उपस्थित थे।



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भारत जोड़ो यात्रा ने मध्यप्रदेश में नए जन आंदोलन की शुरुआत की : पी सी शर्मा

भारत जोड़ो यात्रा ने मध्यप्रदेश में नए जन आंदोलन की शुरुआत की : पी सी शर्मा 

सागर 12 दिसंबर 2022।   राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा 23 नवंबर से 5 दिसंबर तक मध्यप्रदेश में बुरहानपुर, खंडवा, खरगोन, इंदौर, उज्जैन और आगर मालवा जिलों से होकर कुल 387 किलोमीटर मध्यप्रदेश में चली। इस दौरान कांग्रेस के वरिष्ठ नेता श्री राहुल गांधी और मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एवं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष श्री कमलनाथ पूरे समय यात्रा में मौजूद रहे। दोनों नेताओं ने एक आम भारत यात्री की तरह कैंप में ही रात्रि विश्राम किया और पद यात्रियों के साथ ही भोजन किया। नेता, कार्यकर्ता और जनता के इस संगम ने मध्यप्रदेश में नया जन आंदोलन प्रारंभ कर दिया है।  यह बात मध्यप्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री श्री पी सी शर्मा ने सागर में आयोजित पत्रकार वार्ता में कही।
 पूर्व मंत्री श्री पी सी शर्मा ने  प्रदेश कांग्रेस के का.का. अध्यक्ष सुरेंद्र चौधरी, मीडिया विभाग उपाध्यक्ष, विचार विभाग के अध्यक्ष तथा गांधी चौपाल के प्रदेश संयोजक भूपेंद्र गुप्ता, पूर्व जिला अध्यक्ष रेखा चौधरी, पूर्व विधायक सुनील जैन की उपस्थिति में आयोजित पत्रकार वार्ता में कहा कि यात्रा जिन इलाकों से गुजरी है, उन इलाकों के लोगों को यात्रा में शामिल होने और यात्रा के प्रति जनता के उत्साह को प्रत्यक्ष देखने का मौका मिला। लेकिन जिन क्षेत्रों से होकर यात्रा नहीं गुजरी, उन लोगों को भी इस बात का भली-भांति ज्ञान है कि श्री राहुल गांधी की यात्रा ने नया इतिहास रच दिया है।
नफरत छोड़ो, भारत जोड़ो के नारे के साथ चल रही यात्रा में मध्यप्रदेश में हर समय लाखों लोग शामिल रहे। बच्चे, बूढ़े, जवान सभी में यात्रा में शामिल होने को लेकर जबरदस्त उत्साह था। पुरुषों के साथ ही महिलाओं ने भी यात्रा में बढ़ चढ़कर भाग लिया।
उन्होंने बताया यात्रा के प्रत्यक्षदर्शी बता सकते हैं कि श्री राहुल गांधी की यात्रा के लिए जो जन समुदाय उमड़ा वह भाजपा के नेताओं की तरह पैसे देकर बुलाई गई भीड़ नहीं थी। और ना ही इस जन समुदाय को बुलाने के लिए कलेक्टर और एसपी को जिम्मेदारी सौंपी गई थी। यह जबरदस्ती बुलाए जाने वाले कथित लाभार्थियों की भीड़ नहीं थी। श्री राहुल गांधी की यात्रा में मध्य प्रदेश की जनता ने स्वेच्छा से भाग लिया। दूसरी तरफ पूरी सरकार के मंत्री हर दिन कोई नया झूठ लाकर इस बात की कोशिश करते रहे कि भारत जोड़ो यात्रा से मीडिया और जनता का ध्यान हट जाए। श्री राहुल गांधी ने एक बार फिर दिखा दिया कि वे श्रीमती इंदिरा गांधी के पौत्र और श्री राजीव गांधी के पुत्र हैं जो जनता से मुलाकात करने में सुरक्षा घेरे को आड़े नहीं आने देते। वे उन तथाकथित नेताओं की तरह नहीं है जो सिर्फ टीवी पर नजर आते हैं और जनता के बीच उतरने में जिन्हें सुरक्षा को खतरा दिखाई देने लगता है।
उन्होंने बताया कि यात्रा के दौरान श्री राहुल गांधी ने बाबा महाकाल और ओमकारेश्वर के दर्शन किए। संविधान दिवस पर संविधान निर्माता बाबा साहब अंबेडकर की जन्म भूमि महू गए। उन्होंने टंट्या मामा की प्रतिमा पर जाकर माल्यार्पण किया। श्री राहुल गांधी ने यात्रा के दौरान अनेक जगह नुक्कड़ सभाओं को संबोधित किया। यह नुक्कड़ सभाएं मुश्किल से 2000 व्यक्तियों की क्षमता के हिसाब से आयोजित की गई थी लेकिन हर सभा में हजारों की संख्या में लोग शामिल हुए। उज्जैन में राहुल गांधी की जनसभा में उमड़ी विशाल भीड़ इस बात का परिचायक है कि श्री राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश में नए जन आंदोलन का सूत्रपात कर दिया है।
भारत जोड़ो यात्रा के बाद कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं और मध्य प्रदेश की जनता में नए उत्साह का सूत्रपात हुआ है। प्रदेश के हर कोने से कांग्रेसी कार्यकर्ता भारत जोड़ो यात्रा में शामिल हुए। उन्होंने हा कि इस बात में कोई संदेह नहीं है कि अब कांग्रेस का कार्यकर्ता विधानसभा चुनाव के लिए भी पूरी ताकत से कार्य में जुट गया है।
श्री कमलनाथ ने पहले ही घोषणा कर दी है कि मध्य प्रदेश में कांग्रेस पार्टी की सरकार बनते ही किसानों की कर्ज माफी दोबारा शुरू की जाएगी। कांग्रेस पार्टी की सरकार ने 27 लाख किसानों का कर्ज माफ कर दिया था, लेकिन उसके बाद खरीद-फरोख्त से बनी शिवराज सरकार ने अपना किसान विरोधी चेहरा दिखाते हुए किसान कर्ज माफी बंद कर दी। कांग्रेस सरकार बनते ही किसानों का कर्ज माफ कर दिया जाएगा। सरकारी कर्मचारियों के लिए पुरानी पेंशन योजना कांग्रेस सरकार बनते ही बहाल कर दी जाएगी। उज्जैन में महाकाल लोक परियोजना के लिए 350 करोड रुपए से अधिक की धनराशि श्री कमलनाथ की सरकार ने ही स्वीकृत की थी। भारतीय जनता पार्टी प्रदेश में विकास और धर्म का कोई कार्य नहीं करती बल्कि कांग्रेस सरकार द्वारा किए गए कार्यों का श्रेय लेने की कोशिश करती रहती है।

गांधी चोपाल का बताया महत्व

पत्रकार वार्ता के दौरान गांधी चौपाल के प्रदेश संयोजक  भूपेंद्र गुप्ता ने प्रदेश भर में आयोजित की जा रही गांधी चौपालों के बारे में जानकारी देते हुए इनके औचित्य पर प्रकाश डाला।इसका  संचालन प्रवक्ता  डॉ संदीप सबलोक व आभार प्रदर्शन भारत जोड़ो यात्रा के जिला संयोजक मुकुल पुरोहित ने किया।
 इस अवसर पर संभागीय प्रवक्ता अभिषेक गौर, सेवादल अध्यक्ष सिंटू कटारे ,रामकुमार पचोरी, पप्पू गुप्ता, 
जिला प्रवक्ता डॉ दिनेश पटेरिया व लक्ष्मीनारायण सोनकिया ,पार्षद महेश जाटव, आनंद हेला,  जितेंद्र चौधरी, आदि भी उपस्थित रहे।
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संजोग समिति द्वारा आयोजित परिचय सम्मेलन में जैन युवक- युवतियों ने दिया परिचय

संजोग समिति द्वारा आयोजित परिचय सम्मेलन में जैन युवक- युवतियों ने दिया परिचय



सागर। संजोग समिति सागर के द्वारा आयोजित अखिल भारतीय जैन युवक युवती परिचय सम्मेलन में लगभग 6 दर्जन से अधिक युवक-युवतियों ने मंच पर आकर अपना और परिवार का परिचय दिया सभी युवक-युवतियों को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया गया आज के इस कार्यक्रम में वरिष्ठ भाजपा नेता नेवी जैन, दीपक बहेरिया, संजय दिवाकर, डॉ विक्रम जैन, सुनील छाया, श्रीमती रश्मिरितु अनिल नैनधरा की विशेष उपस्थिति में कार्यक्रम संपन्न हुआ।


 समिति के स्वागत अध्यक्ष मुकेश जैन ढाना ने बताया कि पत्रिका में लगभग 1050 से अधिक युवक-युवतियों के बायोडाटा प्रकाशित किए गए हैं।
आज परिचय देने वालों में गौरव जैन बेगमगंज, अरिहंत जैन बड़मलहरा, प्राशु सिधंई तेंदूखेड़ा, गरिमा जैन बटियागढ़, रिचा बजाज नरसिंहपुर, प्रिन्स जैन नागपुर, स्वप्निल जैन देवरी, शिल्पा जैन जैसीनगर, केतन वैशाखिया सागर, आकाश जैन शाहगढ़, अमन जैन खिमलासा, मौसम सिंघई सागर, प्रिया मलैया गढ़ाकोटा, सुष्मिता जैन मड़ावरा, श्रद्धा जैन मड़ावरा, अकित जैन कोटा, सागर जैन जबलपुर, महिमा दीवान, मोनिका जैन छतरपुर,रविकान्त बॉदकपुर,विनोद जैन सागर,आदित्य जैन पूना सहित लगभग 6 दर्जन से अधिक युवक- युवतियों ने मंच पर आकर अपना परिचय दिया ।

युवतियों ने विशेष रूप से अपने परिवार का परिचय दिया और ससुराल में स्वतंत्रता रहे बंधन कम हो धर्म से जुड़ा हुआ परिवार हो ऐसे परिवारों को प्राथमिकता देने की बात कही वही लड़कों ने कहा कि उन्हें ऐसी बहू चाहिए जो उनके साथ-साथ उनके परिवार का ध्यान रखें और माता जी महाराज जी के लिए चौका इत्यादि में पारंगत हो इसके अलावा व्यापारिक कार्यों में सहयोग करें। कार्यक्रम में विशेष रुप से देवेंद्र जैन स्टील, सटटू कर्रापुर, सचिन स्पोर्ट्स, मुकेश मोदी , मनीष नायक, राजेश सरस, मुकेश खमकुआ, आशीष वाछल, ऋषभ गढाकोटा, रजनीश डीसेंट, अजय लंबरदार, संजय डबडेरा, ऋषभ डबडेरा, सपन जैन, भैयालाल लंबरदार, महेश बाबा सहित बड़ी संख्या में समिति के सदस्य और गणमान्य लोग उपस्थित थे।


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SAGAR : सड़क हादसे में जैन दंपती की मौत, एक साथ उठी अर्थी, मंत्री भूपेंद्र सिंह ने जताया शोक

SAGAR : सड़क हादसे में जैन दंपती की मौत, एक साथ उठी अर्थी, मंत्री भूपेंद्र सिंह ने जताया शोक


सागर। जिले के बरोदिया कलां में रहने वाले शनिवार को दंपति बेटी की शादी के लिए लड़का देखने जा रहे थे, तभी रास्ते में सेना के वाहन ने टक्कर मार दी, जिससे दोनों की मौके पर मौत हो गई। रविवार सुबह जब एक साथ दो अर्थी उठी तो देखने वाले कह उठे.. हे! भगवान ये कैसा तेरा विधान। हर आंख नम हो गई। पूरे नगर में मातम का माहौल हो गया।
 बरोदिया कला निवासी प्रदीप जैन बर्तन व्यापारी थे, उनकी पत्नी साधना पास के ही गांव में प्राथमिक स्कूल में शिक्षिका थी। शनिवार को बरोदिया से दोनों बाइक से अपनी अतिथि शिक्षिका बेटी के लिए लड़का देखने जा रहे थे, लेकिन नेशनल हाईवे पर गढ़पहरा के पास सेना के वाहन ने इनकी बाइक को टक्कर मार दी, जिसकी वजह से दोनों की घटनास्थल पर ही जान चली गई।
घटना के बाद से ही पूरे नगर में मातम पसरा हुआ है। परिजनों का रो-रोकर बुरा है। बेटी भी माता-पिता के लिए बिलख रही है। आज जब दोनों की अर्थी एक साथ उठी तो हर आंख नम हो गई। लोग अपनी आंसू नहीं रोक पाए।

मंत्री भूपेंद्र सिंह ने जताया शोक

नगरीय विकास एवं आवास मंत्री श्री भूपेंद्र सिंह ने दुर्घटना में दिवंगत हुए दंपत्ति बरोदिया कलां के श्री प्रदीप जैन और श्रीमती साधना जैन के निधन पर शोक व्यक्त करते हुए श्रद्धांजलि दी है।


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साहित्यकार स्व. डॉ.महेश तिवारी की जन्म जयंती पर हुआ उनकी अंतिम पुस्तक का विमोचन

साहित्यकार स्व. डॉ.महेश तिवारी की जन्म जयंती पर हुआ उनकी अंतिम पुस्तक का विमोचन


सागर।   नगर के ख्यात साहित्यकार, समालोचक स्व. डॉ. महेश तिवारी की जन्म जयंती पर उनके द्वारा लिखी गई अंतिम पुस्तक "केदारनाथ अग्रवाल का काव्य" का विमोचन रविवार को आदर्श संगीत महाविद्यालय के सभागार में संपन्न हुआ। उल्लेखनीय है कि गत वर्ष डॉ. तिवारी के आकस्मिक निधन उपरांत यह पुस्तक देश के प्रतिष्ठित वाणी प्रकाशन से प्रकाशित हुई थी।
पुस्तक पर अपने समीक्षा आलेख का वाचन करते हुए वरिष्ठ लेखिका एवं आलोचक डॉ (सुश्री) शरद सिंह ने कहा कि "मुझे इस पुस्तक में ऐसा कोई तत्व नहीं मिला जिसके कारण मुझे आलोचकीय कठोरता बरतनी पड़े। यह पुस्तक कवि केदारनाथ अग्रवाल की काव्य विशेषताओं को सहजता, सरलता, रोचकता और बड़े ही चातुर्यता से प्रस्तुत करती है। इस एक पुस्तक को पढ़ कर ही केदारनाथ अग्रवाल के विचारों और उनकी कविताओं को भंली-भांति समझा जा सकता है। इस दृष्टि से यह पुस्तक न केवल पठनीय अपितु संदर्भ ग्रंथ के रूप में संग्रहणीय भी है।"
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि नगर विधायक शैलेंद्र जैन ने स्व.तिवारी को सहृदयी मित्र बताते हुए कहा कि राजनीतिक संबद्धता पृथक होने के वाबजूद उनके साथ अलग विचार धारा होने संबंधी बात कभी नहीं आई। वह सच को सच कहने वाले व्यक्ति थे।महेश भाई के बारे में बोलना मेरे लिए हमेशा कठिन हो जाता है।आमतौर पर लोग बंद कमरे में मेरी तारीफ करते हैं जो मेरी विचारधारा के लोग नहीं हैं या अन्य दलों से जुड़े हुए हों। महेश भाई एक ऐसी शख्सियत थे जो मेरे द्वारा किए गए कार्यों के लिए सार्वजनिक रूप से खुले मंच पर मुझे महिमा मंडित करने, तारीफ करने आदि से गुरेज नहीं करते थे। एकमात्र बड़े भैया तिवारी ही थे जो स्पष्ट रूप से ऐसा कह सकते थे।

अध्यक्षीय उद्बोधन में सुप्रसिद्ध व्यंग्यकार डॉ.सुरेश आचार्य ने स्व.तिवारी के व्यक्तित्व और कृतित्व की चर्चा करते हुए कहा कि वे स्वभाव से किसान और कवि दोनों ही थे। उनके गांव देवलचौरी की धनुष भंग लीला के विराट धनुष जैसा उनका व्यक्तित्व भी अद्भुत था। यह रामलीला केवल तिवारी परिवार द्वारा आयोजित होती है। रस और जस से भरपूर। यह उनका किसान व्यक्तित्व था। ठीक इसी तरह हर दीपावली पर वे सैकड़ों पोस्टकार्ड अपनी शुभकामनाओं की कविताओं से भरकर खुद लिख कर भेजते थे।यह उनके कवि व्यक्तित्व का रस है कि अभी तक सैकड़ों लोग वे पोस्ट कार्ड संभाले बैठे हैं। अब डॉक्टर तिवारी नहीं है लेकिन उनकी यशस्वी यादें  हमेशा बनी रहेंगी। उनके झकाझक खादी के धोती - कुर्ते जिन्हें वे स्वयं धोते और प्रेस करते थे सदैव उनके वैचारिक पक्ष की याद दिलाते रहेंगे।
कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि डॉ हरीसिंह गौर विश्वविद्यालय सागर में संस्कृत विभागाध्यक्ष प्रो.आनंदप्रकाश त्रिपाठी ने कहा कि डा महेश तिवारी अपने जमाने के आम चलन से कोसों दूर रहने वाले व्यक्तित्व थे। राजनीति की राह उन्होंने जरुर पकड़ी थी किंतु उनकी चेतना और संवेदनशीलता एक साहित्यकार की थी। वे एक जिंदादिल इंसान थे ।विरूद्धों के सामंजस्य के लिए जीवनपर्यंत समर्पित रहे।

स्व. डॉ.महेश तिवारी की स्मृतियों को साझा करते हुए उनके सहपाठी मित्र से.नि.डिप्टी कलेक्टर डॉ.राजेश दुबे ने उन्हें अपने सुख दु:ख का सच्चा साथी बताया। इंक मीडिया पत्रकारिता संस्थान के निदेशक डॉ आशीष द्विवेदी ने कहा कि वह एक अति संवेदनशील व्यक्ति थे उनके अंदर सभी रसों का समावेश था।आदर्श संगीत महाविद्यालय के सचिव सुभाष पंड्या ने कहा कि वे एक मिलनसार और सभी से निस्वार्थ प्रेम करने वाले इंसान थे।
नगर की प्रतिष्ठित संस्था श्यामलम् एवं तिवारी परिवार द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम की शुरुआत स्वर्गीय तिवारी के चित्र पर अतिथियों परिजनों एवं सभागार में उपस्थित प्रबुद्ध जनों द्वारा  पुष्पार्पण  एवं स्मृति दीप प्रज्वलन से हुई।‌ श्यामलम् अध्यक्ष उमाकांत मिश्र ने कार्यक्रम परिचय दिया। लोक गायक शिवरतन यादव ने स्मृति गीत का गायन किया। स्व.तिवारी की छोटी पुत्री श्रीमती महिमा चतुर्वेदी ने उनकी जीवन यात्रा पर विस्तार से प्रकाश डाला। संचालन मध्यप्रदेश हिंदी साहित्य सम्मेलन के अध्यक्ष आशीष ज्योतिषी ने किया तथा स्वर संगम समिति के अध्यक्ष हरीसिंह ने ठाकुर आभार माना।

इस अवसर पर एल एन चौरसिया, हेमचंद जैन, हरगोविंद विश्व, श्रीमती सीमा दुबे, डॉ.गजाधर सागर, डॉ. चंचला दवे, डॉ. कविता शुक्ला, सुनीला सराफ,डॉ.अंजना चतुर्वेदी तिवारी, प्रभात तिवारी, श्रीमती मुक्ता तिवारी, हरी शुक्ला, आर के तिवारी, मुन्ना शुक्ला, चंपक भाई,मितेंद्र सिंह सेंगर, डॉ. शशि कुमार सिंह, डॉ अनिल जैन, निरंजना जैन, भारत भूषण तिवारी, श्रीमती मिति‌ तिवारी, कासिम राईन, अंबिका यादव, अशोक तिवारी अलख, पूरन सिंह राजपूत,डॉ.अशोक कुमार तिवारी,अभिनव दत्त,असीम दत्त दुबे,बिहारी सागर,ज. ल. राठौर,डॉ आशुतोष गोस्वामी, डॉ. अमर जैन, आनंद मंगल बोहरे, राजीव अग्निहोत्री, अरुण दुबे, प्रभात कटारे, डॉ.आर आर पांडे, रमाकांत मिश्रा,डॉ.विनोद तिवारी, मुकेश तिवारी, आदर्श दुबे, सुरेंद्र श्रीवास्तव, सी एल‌ कंवल, रीतेश दुबे, धीरेंद्र सेन सहित बड़ी संख्या में प्रबुद्ध वर्ग एवं स्व.तिवारी के परिजन उपस्थित थे।



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सागर में हृदय की बीमारियों के एक नए इलाज की खोज : डा सर्वेश जैन

सागर में हृदय की बीमारियों के एक नए इलाज की खोज : डा सर्वेश जैन

सागर। भारत में हृदय रोगियों की संख्या बढ़ती जा रही,जिसमे शामिल है वो मरीज जो हार्ट अटैक के साथ अस्पताल पहुंचते है या जिनको चलने में  छाती में दर्द या सांस फूलना होता है। दोनो किस्म के मरीजों के दर्द में कमी लाई जा सकती है ,एक किस्म का नर्व ब्लॉक लगाकर ।
बुंदेलखंड मेडिकल कॉलेज सागर के प्रोफेसर डा सर्वेश जैन का कहना है की लाइग्नोकेन या सुन्न करने की दवा यदि शरीर के कुछ चिन्हित स्थानों पर सूई से लगाए तो छाती में दर्द को तुरंत फायदा मिलता है।
इसको डीएससीबी ब्लॉक कहते है,यह सीखने में आसान तरीका है जिसमे सुई लगाने के पंद्रह मिनट बाद से ही मरीज कंफर्टेबल और सामान्य हो जाता है,कोरोनरी आर्टरी डिजीज अर्थात हृदय की नली में रुकावट , एंजिना आदि के मरीज तुरंत ठीक हो जाते है। ऐसा होता है न्यूरल थेरेपी के सिद्धांतो का पालन करने से । यह एक पुराना जर्मन तरीका है दर्द संबंधी बीमारियों का ।हालांकि वर्तमान काल में इसको भुला दिया गया है । डा जैन ने बताया की बिलकुल थोड़ी सी मात्रा में सुन्न की दवाई इंजेक्ट करने से दर्द बंद हो जाता है जिससे मरीज की बदहवासी एवम घबराहट कम हो जाती है और नॉर्मल होते पल्स बीपी के साथ मरीज शीघ्र ही सामान्य हो जाता है । और जो मरीज क्रोनिक स्टेबल एंगिना से पीड़ित रहते है और चलने पर छाती में दर्द और सांस फूलना होता है ,वो भी ठीक हो जाते है । मृत्यु दर पर पड़ने वाले फर्क को लेकर डा जैन का कहना है ,यदि उच्च स्तर पर शोध किया जाए तो इसलिए तरीके से हृदयाघात से मरने वाले मरीजों को दर में कमी लाई जा सकती है।वर्तमान में वातावरण में भारी धातुएं ,प्रदूषण और पेस्टीसाइड के अंधाधुंध प्रयोग से हृदय की बीमारियों में इजाफा हुआ है,उसका प्रचलित इलाज के बाद भी मृत्यूदर ज्यादा है ।
इस ब्लॉक की शुरुआती  करी ललितपुर यूपी के डा अरविंद दिवाकर जैन एवम केरल के डा एल प्रकाश ने ।
सागर में साईटिका,गर्दन दर्द के मरीजों में पिछले छह महीने से सफलता पूर्वक प्रयोग कर रहे प्रोफेसर जैन ने इसको छाती के हृदयजनित दर्द में उपयोग किया तो चमत्कारिक रिजल्ट मिले।यह ब्लॉक थोड़ी देर के लिए ब्रेन में जाने वाली दर्द की सूचना को रोक देता है ,जिससे पेन की बारबार होने वाली विशियस साइकिल ब्रेक हो जाती है,इतनी देर में शरीर जिसकी खुदको ठीक करने की असीमित क्षमता होती , अपने आप को और हृदय को दुरुस्त कर लेता है। जिन जगहों पर सूई लगाई जाती है वो तीन पूर्व निर्धारित प्वाइंट रहते है। यह नुस्खा न केवल अटैक में बल्कि छाती के अन्य दर्द की स्थिति में भी कामयाब रहता है।यह सीखने में आसान है ताकि हर डॉक्टर और नर्स यह ब्लॉक लगा सके । यदि मरीज तुरंत अस्पताल पहुंच जाए तो हार्ट को होने वाला नुकसान बहुत कम होता है।अभी तक के प्रयोग में थोड़ा सा बीपी कम होने के अलावा कोई साइड इफेक्ट नहीं पाया गया । शासन से मांग है कर की शोध के लिए फंड देकर इस अवधारणा की पूर्ण विवेचना की जाए।


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13 करोड़ की लागत से बनने वाले जलंधर से चौकी मार्ग का भूमि पूजन किया राजस्व मंत्री ने

13 करोड़ की लागत से बनने वाले जलंधर से चौकी मार्ग का भूमि पूजन किया राजस्व मंत्री ने


सागर। सुरखी विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए हमने हमेशा संघर्ष किया और अच्छे से अच्छा करने का सपना देखा आज 50 वर्षों का संघर्ष और मेरा सपना आप सब के आशीर्वाद से जलंधर से चौकी मार्ग का पूरा हुआ यह बात राजस्व एवं परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने  ग्राम जलंधर से चौकी मार्ग के भूमि पूजन के अवसर पर ज्वाला देवी मंदिर के प्रांगण में कहीं श्री राजपूत ने कहा कि जलंधर चौकी मार्ग बनने से जलंधर, लछनपुरा, पीपलखेडी, सोठिया, काटीघाटी, जामुनढाना, सेमरामेड़ा ,मसानिया ,शिकारपुर तथा  चौकी ग्राम के लोग अब बिना किसी परेशानी के राहतगढ़ पहुंच सकेंगे अब तक यह लोग लगभग 100 किलोमीटर का चक्कर लगाकर राहतगढ़ पहुंच पाते थे यह मार्ग 13 करोड़ की लागत से प्रारंभ होगा इस मार्ग के बनने से जरुआखेड़ा, बसियाभोती, ननउ, लुहर्रा, बेरखेडीभौती, चांदामउ, बमूरा, बरोदियाबल्लभ, रूपउ, कनेरानीखर, सेमरालहिरया, मूडरा, तोडा, सेमराचरखरा, गुनगुचा, बहरोल, मानकचोक, सहित 50 ग्रामों के लोगों को इस मार्ग के बनने का लाभ मिलेगा जो राहतगढ़ में जनपद ब्लॉक ऑफिस, थाना, तहसील जाने के लिए लोग परेशान होते थे अब सीधे राहतगढ़ सिर्फ 20 मिनट में इस मार्ग के बनने के बाद क्षेत्रवासी पहुंच पाएंगे।

सागर से दिल्ली तक लड़ी लड़ाई
राजस्व एवं परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत ने कहा कि यह मार्ग बनाने के लिए सागर ,भोपाल तथा दिल्ली तक लड़ाई लड़नी पड़ी क्योंकि इस मार्ग में अधिक भूमि वन विभाग की थी  जिसके कारण यह काम असंभव सा लग रहा था लेकिन आप सबके आशीर्वाद से मेरा संघर्ष कामयाब हुआ और आपके लिए यह मार्ग स्वीकृत हो चुका है जल्दी ही यह मार्ग बन जाएगा अब कोई भी क्षेत्रवासी मार्ग ना होने के कारण पढ़ाई नहीं छोड़ेगा ,समय से अस्पताल पहुंचेंगे और   सभी गांव विकास की राह में आगे बढ़ेंगे।

ज्वाला देवी में हुआ भव्य भंडारा

राजस्व एवं परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत द्वारा जालंधर में ज्वाला देवी मंदिर प्रांगण में चल रही सात दिवसीय भागवत कथा के समापन पर भव्य भंडारा किया गया जिसमें लगभग 50 गांव के लोग शामिल हुए 20,000 से अधिक लोग भंडारे में पहुंचे जिन्होंने भोजन प्रसादी ग्रहण की इस अवसर पर जिला पंचायत अध्यक्ष हीरा सिंह राजपूत ने कहा कि राजपूत परिवार सुर्खी विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए हमेशा तत्पर है भाजपा की सरकार ने हर व्यक्ति को लाभ पहुंचाया है यह मार्ग सुर्खी तथा नरयावली विधानसभा सहित आसपास के सभी ग्रामीण क्षेत्र वासियों के लिए सफलता का मार्ग है

करोड़ों अन्य विकास कार्यों का किया भूमिपूजन

मार्ग भूमि पूजन के अवसर पर ज्वाला देवी प्रांगण के लिए दो करोड़ की लागत से गांव से माता मंदिर के लिए सड़क, 50लाख  का मंगल भवन सहित अनेकों विकास कार्यों का भूमि पूजन राजस्व एवं परिवहन मंत्री ने किया ।

क्षेत्रवासियों ने किया आभार व्यक्त
जालंधर  से चौकी मार्ग का भूमि पूजन होने पर सुर्खी तथा नरयावली क्षेत्र के क्षेत्र वासियों ने राजस्व एवं परिवहन मंत्री का जगह-जगह स्वागत कर आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह मार्ग हमारे बच्चों के भविष्य का मार्ग है जो राजस्व एवं परिवहन मंत्री गोविंद सिंह राजपूत के अथक प्रयासों से बन पा रहा है यह मार्ग बनने से हमारे बच्चों के भविष्य संभल जाएंगे तथा गांव का विकास संभव हो पाएगा सभी क्षेत्रवासियों ने फूल मालाओं से राजस्व एवं परिवहन मंत्री का स्वागत कर आभार व्यक्त किया।

इस  अवसर पर वरिष्ठ भाजपा नेता एवं पूर्व राहतगढ़ जनपद अध्यक्ष गुलाब सिंह राजपूत भाजपा नेता राम कुमार यादव भाजपा मंडल अध्यक्ष कमल पटेल, निरंजन सिंह, रामबाबू कुर्मी राजू पटेल  देश राज यादव जग्गू , सहित सरपंच जनपद ,सदस्य जिला पंचायत सदस्य सहित सैकड़ों ग्रामवासी उपस्थित रहे।



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