डॉ गौर को भारत रत्न दिलाने के लिए अब सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगेगी

डॉ गौर को भारत रत्न दिलाने के लिए अब सुप्रीम कोर्ट में याचिका लगेगी
सागर। डॉ हरीसिंग गौर को भारतरत्न दिलाने की मांग को लेकर सुप्रीमकोर्ट में याचिका दायर की जाएगी। इस संबंध में गौर यूथ फ़ोरम के राष्ट्रीय अध्यक्ष डॉ विवेक तिवारी और सुप्रीम कोर्ट के वकील एहतेशाम हाशमी जी( मप्र सरकार के सुप्रीम कोर्ट में अधिकृत कांउसिल ) ने संयुक्त बयान जारी कर ये जानकारी दी। यह प्रश्न और मांग यहाँ के जनमानस से जुड़ी हुई है पूर्व में कई बार इस संबंध में आंदोलन हुए जनप्रतिनिधियों, विश्वविद्यालय प्रशासन, सामाजिक संगठन लगातार ये मांग करते आये हैं।
ज्ञात हो कि डॉ सर हरीसिंह गौर जी भारत के संविधान को निर्माण करने वाली समिति के भी सदस्य थे। संविधान दिवस भी उनके जन्मदिन 26 नवंबर को मनाया जाता है। हिन्दू लॉ और अन्य कई महत्वपूर्ण कानून जो आज भारतवर्ष में चल रहे हैं उनके निर्माण में भी उनका विशेष योगदान है। 
विश्वविद्यालय से जानकारी लेने पर यह पता चला कि विधिवत प्रस्ताव केवल एक बार तत्कालीन कुलपति प्रो. डी. पी. सिंह जी के समय भारत सरकार के पास भेजा गया था। केवल यही एक सार्थक प्रयास हुआ है, बाकि केवल कमेटियों तक ही सीमित रहा मामला या मंचों से घोषणा बखान होता रहा ।
डॉ विवेक तिवारी और सुप्रीम कोर्ट के अधिवक्ता एहतेशाम हाशमी जी ने कहा कि भारत रत्न मिलना ही डॉ गौर को सच्ची श्रद्धांजलि होगी और अगर आवश्यक हुआ तो विश्वविद्यालय से मदद ली जावेगी या उनको भी इसमें पार्टी बनाया जाएगा।
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साल का पहला चंद्र ग्रहण आज; भारत में नहीं होगा इसका कोई असर

साल का पहला चंद्र ग्रहण आज; भारत में नहीं होगा इसका कोई असर
साल 2020 का पहला चंद्र ग्रहण 10 जनवरी को पड़ रहा है। धार्मिक दृष्टि से भारत में इसका कोई महत्व नहीं होगा। यह उप छाया ग्रहण है। इसलिए यह न तो देश में कहीं दिखेगा और न ही मंदिरों में इसके सूतक आदि को माना जाएगा। पूरे साल में कुल 4 चंद्र ग्रहण व 2 सूर्य ग्रहण पड़ेंगे। इनमें से 5 धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं रखेंगे। सिर्फ 21 जून को पड़ने वाला सूर्य ग्रहण ही मान्य होगा।
ज्योतिषियों के अनुसार चंद्र ग्रहण तीन वर्गों में होता है। पहला पूर्ण चंद्र ग्रहण। यानि चन्द्रमा की काली छाया पृथ्वी पर गिरती है। दूसरा आंशिक चंद्र ग्रहण, जब आंशिक रूप से काली छाया पृथ्वी पर गिरती है। तीसरा उप छाया चन्द्र ग्रहण इसमें चंद्रमा पूरी तरह से छिपता नहीं, न ही उसकी काली छाया पृथ्वी पर गिरती है। 10 जून को पड़ने वाला चन्द्र ग्रहण उप छाया चंद्र ग्रहण है। अतः इसका धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं है। इसका यम नियम सूतक मान्य नही है। यह ग्रहण रात्रि 10.37 मिनट से शुरू होगा तथा रात्रि 2.42 मिनट तक रहेगा।
कब-कब पड़ेंगे चंद्र और सूर्य ग्रहण 
10 जनवरी- शुक्रवार को पड़ने वाले इस ग्रहण का धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं है। इसका कोई भी यम, नियम लागू नहीं होगा।
5 जून- शुक्रवार को भी चंद्र ग्रहण पड़ेगा, लेकिन इसका भी धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं होगा।
5 जुलाई- रविवार को भी चंद्र ग्रहण होगा, लेकिन इसका का भी धार्मिक दृष्टि से कोई महत्व नहीं होगा।
30 नवंबर- सोमवार को भी चंद्र ग्रहण होगा। देश में धार्मिक दृष्टि से इसका कोई महत्व नहीं होगा।
14 दिसंबर- सोमवार को सूर्य ग्रहण पड़ेगा। देश में धार्मिक दृष्टि से इसका भी कोई महत्व नहीं होगा।
21 जून- रविवार को सूर्य ग्रहण पड़ेगा। यह ग्रहण देश में मान्य होगा। यह ग्रहण मृगशिरा व आर्द्रा नक्षत्र तथा मिथुन राशि में पड़ेगा। इसका वेद(सूतक) 20 जून को रात्रि 10.10 बजे से मान्य होगा। इसका स्पर्श 21 जून को सुबह 10.10 बजे होगा। मध्य 11.48 मिनट के बाद दोपहर 1.37 मिनट पर इसका मोक्ष होगा। यह सूर्य ग्रहण लगभग 3.30 घंटे का होगा। धार्मिक दृष्टि के इसके यम नियम सभी मान्य होंगे। इस दौरान किया गया पूजा, जप तप विशेष फलदायी होगा।
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PSC परीक्षा: ठंड में टोपी,मफलर,शाल आदि नही पहन सकेंगे परीक्षार्थी, चेकिंग के बाद जूते /मोजे पहन सकेंगे, निःर्देश जारी

PSC परीक्षा: ठंड में टोपी,मफलर,शाल आदि नही पहन सकेंगे परीक्षार्थी, चेकिंग के बाद जूते /मोजे  पहन सकेंगे, निःर्देश जारी

#पीएससी परीक्षा संपन्न कराने हेतु बैठक संपन्न

सागर । आयोग के निर्देषों का अक्षरषः पालन सुनिष्चित करंे एवं पूरी गंभीरता के साथ परीक्षा को संपन्न कराएं उक्त निर्देष कमिष्नर  आनंद कुमार शर्मा ने राज्य सेवा प्रारंभिक परीक्षा एवं राज्य वन सेवा परीक्षा 2019 हेतु आयोजित आब्जर्बर एवं केन्द्राध्यक्षों की बैठक में कमिष्नर कार्यालय के सभाकक्ष में दिए। इस अवसर पर संभागीय पर्यवेक्षक  अषोक कुमार शर्मा सेवानिवृत्त आईपीएस, उपायुक्त विकास श्रीमती प्रभा श्रीवास्तव, अपर कलेक्टर  मूलचंद वर्मा, डिप्टी कलेक्टर सुश्री अमृता गर्ग, सहायक संचालक उच्च षिक्षा जीएस रोहित, आरके गोस्वामी सहित 30 परीक्षा केन्द्रों के आब्जर्बर एवं केन्द्राध्यक्ष मौजूद थे।
 ये है 12 जनवरी को होने वाली परीक्षा सम्बन्धी निःर्देश
 12 जनवरी रविवार को आयोजित होने वाली पीएससी प्रारंभिक परीक्षा हेतु कमिष्नर श्री शर्मा ने निर्देष देते हुए कहा कि लोकसेवा आयोग द्वारा जारी निर्देषों का अक्षरषः पालन कर गंभीरता के साथ परीक्षा को संपन्न कराएं। साथ ही प्रत्येक परीक्षा कक्ष में एक घड़ी लगाई जाए। उन्होंने दिव्यांग परीक्षार्थियों के लिए भू-तल पर परीक्षा देने के लिए व्यवस्था करने के निर्देष दिए। उन्होंने कहा कि परीक्षा कक्ष में कोई भी इलेक्ट्रॉनिक डिवाईस का प्रवेष पूर्णतः वर्जित रहेगा। उन्होंने कहा कि ठंड के मौसम को देखते हुए एवं आयोग से प्राप्त निर्देषों के अनुसार परीक्षार्थी जूते-मोजे पहनकर अंदर तो जा सकता है किन्तु पूरी जांच करानी होगी। उन्होंने परीक्षा कक्ष में स्कार्प, टोपी, शाल , मफलर को भी परीक्षार्थी परीक्षा कक्ष में उपयोग नहीं कर सकेंगे। उन्होंने यह भी निर्देष दिए कि नकल प्रकरण यदि कोई परीक्षार्थी आपस में बात करता है तब भी बनाए जा सकते है। केन्द्राध्यक्ष एवं आब्जर्बर के अतिरिक्त कोई भी शासकीय कर्मचारी एवं परीक्षार्थियों का मोबाईल ले जाना प्रतिबंधित रहेगा। उन्होंने स्पष्ट रूप से निर्देष दिए कि परीक्षार्थी को ओएमआर शीट प्राप्त करने के पष्चात परीक्षार्थी को परीक्षा कक्ष से बाहर जाने की अनुमति नहीं रहेगी। उन्होंने परीक्षार्थिंयों को केवल काला डाट पेन ही लेकर परीक्षा कक्ष में जाने के निर्देष दिए है। उन्होंने परीक्षार्थिंयों को यह भी निर्देष दिए है  िकवह अपने साथ किसी भी प्रकार की आपत्तिजनक सामग्री लेकर न आए। उन्होंने परीक्षार्थिंयों से आयोग द्वारा जारी प्रवेष पत्र में आवेदक की फोटो जो चस्पा है उसी फोटो के परीचय पत्र एवं आधारकार्ड की मूल प्रति लेकर उपस्थित हों। उन्होंने यह भी कहा कि यदि प्रवेष पत्र में फोटो का मिलान नहीं हो पा रहा है तो केन्द्राध्यक्ष इसकी सूचना तत्काल जिला प्रषासन व पुलिस को दें। साथ ही आस्पष्ट फोटो के पास अपनी स्पस्ट फोटो चस्पा कर राजपत्रित अधिकारी से प्रमाणित कराएं एवं एक फोटो की प्रति जिसके पीछे नाम, आवेदन क्रमांक एवं अनुक्रमांक अंकित कराएं।
इनको नही पहन सकते परीक्षार्थी
आयोग द्वारा नियुक्त संभागीय पर्यवेक्षक श्अषोक कुमार शर्मा सेवानिवृत्त आईपीएस ने आयोग के निर्देष देते हुए बताया कि वर्जित वस्तुओं की श्रेणी में बालों को बांधने वाले क्लेचर, बकल, घड़ी, हाथ में पहने जाने वाले किसी भी प्रकार के बैंड, कमर में पहने जाने वाले बेल्ट, धूप मंे पहने जाने वाले चष्में, पर्स, वालेट, टोपी वर्जित है। सिर नाक, कान, गला, हाथ-पैर, कमर आदि में पहनने वाले सभी प्रकार के आभूषण तथा हाथ में बंधे धागे, कलावा, रक्षा सूत्र आदि का सूक्ष्मता से परीक्षण कर वीक्षकों द्वारा परीक्षार्थी के कक्ष में जाने के पूर्व तलाषी ली जाएगी।
जिला मुख्यालय पर 30 परीक्षा केन्द्र बनाए गए
 12 जनवरी रविवार को आयोजित होने वाली पीएससी प्रारंभिक परीक्षा हेतु सागर जिला मुख्यालय पर 30 परीक्षा केन्द्र बनाए गए है। परीक्षा कार्य के सुचारू संचालन हेतु संभाग आयुक्त  आनंद कुमार शर्मा ने क्षेत्रीय अतिरिक्त संचालक उच्च षिक्षा सागर संभाग कार्यालय मंे नियंत्रण कक्ष स्थापित करते हुए नियंत्रण कक्ष में  बृजेष खरे, कार्यालय आयुक्त सागर संभाग मो. 9893456597, श्री गंगा प्रसाद रैकवार शासकीय कला एवं वाणिज्य महाविद्यालय सागर मो. 7000579095, श्री दामोदर पटैल, कम्प्यूटर संबंधी कार्य मो. 9685893308 एवं श्री अमित मिश्रा कार्यालय आयुक्त सागर संभाग मो. 6264839634 प्रातः 8 बजे से परीक्षा समय तक उपस्थित रहकर आयोग के निर्देषानुसार कर्तव्यों का संपादन करंेगे। नियंत्रण कक्ष का दूरभाष नंबर 07582- 292799  पर संपर्क कर सकते है।
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डाटा एंट्री ऑपरेटर्स को सविधाओं सम्बन्धी आदेश फर्जी, कलेक्टर ने वैधानिक कार्यवाही के दिये निःर्देश

डाटा एंट्री ऑपरेटर्स को सविधाओं सम्बन्धी आदेश फर्जी, कलेक्टर ने वैधानिक कार्यवाही के दिये निःर्देश

सागर। सचिव म.प्र. भवन एवं अन्य संनिर्माण कर्मकार कल्याण मंडल भोपाल के प्राप्त पत्र में उल्लेखित जानकारी अनुसार श्रमायुक्त कार्यालय को 2 जनवरी 2020 को ईमेल के माध्यम से श्रमायुक्त, मध्यप्रदेष इंदौर के कूटरचित हस्ताक्षरित एक फर्जी आदेष प्राप्त हुआ। उक्त फर्जी आदेष में मध्यप्रदेष के समस्त आउटसोर्स पर कार्यरत डाटा एन्ट्री ऑपरेटर्स को सुविधायें दिए जाने का उल्लेख है। उक्त फर्जी आदेष की प्रति संलग्न है। अवगत हो कि यह आदेष पूर्णतः कूटरचित एवं फर्जी हैं। यह भी संज्ञान में आया है कि उक्त फर्जी आदेष के आधार पर जिलों में कलेक्टरों के माध्यम से निर्देष जारी करवाने का प्रयास किया जा रहा है। अतः उक्त कूटरचित आदेष के संबंध में कोई भी कार्यवाही ना की जाए। मण्डल द्वारा इस संबंध में प्रथम सूचना प्रतिवेदन दर्ज करवाया जा रहा है। उक्त आदेष फर्जी एवं कूटरचित होने के संबंध में जिले में जिले में स्थित समस्त शासकीय विभागों को भी अवगत कराते हुए कार्यालय को सूचित करने के निर्देष दिए गए है।
इस संबंध में कलेक्टर श्रीमती प्रीति मैथिल नायक ने श्रमायुक्त कार्यालय, मध्यप्रदेष का हवाला देकर जारी फर्जी आदेष के संबंध में तत्काल वैधानिक कार्यवाही किए जाने के निर्देष समस्त विभाग प्रमुखों को दिए है।
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कबाडी की दुकान पर ब्लास्ट,एक कि मौत दो घायल, आर्मी का था शेल/बम

कबाडी की दुकान पर ब्लास्ट,एक कि मौत दो घायल, आर्मी का था शेल/बम

#कबाडी बमो की खोल से निकालते है पीतल और अन्य धातुएं,पहले भी हुए हादसे
सागर ।सागर के उपनगरीय क्षेत्र मकरोनिया के रिहायशी इलाके में  कबाड़ी द्वारा एक सेना के बम से खोल निकालते समय ब्लास्ट हो गया। जिसमें एक कि मौत हो गई और दो लोग घायल हो गए। ब्लास्ट की आवाज से पूरा इलाका थर्रा  गया।काफी दूर तक धमाके की आवाज सुनी गई। मौके पर सागर झोन के आई जी ,एसपी और आर्मी पुलिस के अधिकारी पहुचेमकरोनिया थाना क्षेत्र के आनंदनगर में राजू साहू के कबाड़े की दुकान में यह हादसा हुआ। 
 जानकारी के मुताबिक  कबाडीकी दुकान पर सेना के बम के  खोल से पीतल और अन्य धातुओं को निकाला जा रहा था। इसी दौरान वह फट गया। विस्फोट में एक युवक के चिथड़े उड़ गए और दो घायल हो गए।इसमे बेजनाथ नामक युवक की मौत हो गई। इसमे पप्पू साहू और 
उसका भतीजा मनोज साहू घायल हो गए ।
आई जी /एसपी और आर्मी पुलिस पहुची
इस हादसे की खबर लगते ही सागर झोन के आईजी सतीश सक्सेना और एसपी अमित सांघि सहित पुलिस बल पहुच गया। मौके से सेना को खबर की गई।
आई जी सतीश सक्सेना ने बताया कि इनके पास कैसे बम आया इसकी जांच की जा रही है।
एसपी अमित सांघि  ने बताया कि सागर में  सेना की आर्टिलरी सेल का विस्फोटक था। कबाड़ी इनकी खोल से पीतल आदि निकालते है। इसी दौरान यह फट गया। आर्मी पुलिस को इसकी सूचना दी है । यह विस्फोटक  कैसे आया इसकी पड़ताल की जा रही है। घायलों को बीएमसी में भर्ती कराया गया है।
हादसे से दहशत /पहले भे ऐसे हादसे
इस हादसे के बाद पूरे इलाके में दहशत बनी है।प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार जैसे ही बम फटने जैसा धमाका हुआ तो लोग डर गए।  घटना के बाद बम स्क्वाड आसपास की जांच कर रहा है। कही कबाड़े में अन्य कोई विस्फोटक पदार्थ न हो ।  उल्लेखनीय  है कि सागर में सैन्य क्षेत्र होने से यहां फायरिंग रेंज में सेना की मनाही के वावजूद कबाड़िये और आसपास के लोग यहां पीतल और अन्य धातुओं की तलाश में बम और गोलियों के खोल ढूढते है । कई बार बम के खोल इसी तरह फटने  से सागर में ऐसे हादसे हो चुके है । कई जाने जा चुकी है।


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समता,एकता,देशप्रेम,शांति,का संदेश लेकर निकली गणतंत्र यात्रा

समता,एकता,देशप्रेम,शांति,का संदेश लेकर निकली गणतंत्र यात्रा 
सागर।सागर से समता एकता देश प्रेम और शांति के संदेश को लेकर प गणतंत्र यात्रा प्राम्भ हुई। यात्रा विधि छात्र परिषद के प्रदेश अध्यक्ष एवं भारतीय जनता पार्टी विधि प्रकोष्ठ के जिला सह संयोजक अधिवक्ता दीपक पौराणिक के  संयोजन में प्रारंभ हुई है । यह सागर से जरुआ खेड़ा खुरई न्यायालय बिना न्यायालय तक पहुंची यात्रा में संबिधान के उद्देशिका का वाचन सहित समता,एकता,देशप्रेम,शांति की शपथ ली अनेक स्थानों पर दिलाई गई ।
एडवोकेट दीपक पौराणिकने बताया कि पूरे जिले अलग अलग क्रमो में यह यात्रा जाएगी औरयात्रा के समाप्ति पर सागर में  देशप्रेम से भरा  एक बड़ा सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित होगा। जिसमे सागर जिले के प्रतिभावान लोग,सम्मानीयजन भी  सम्मलित होगे।सागर से यात्रा पर गौर प्रतिमा पर माल्यार्पण करके प्रारम्भ हुए, यात्रा में भाग्योदय अस्पताल के सामने,जरुआखेड़ाऔर जरारा,नरयाबली में भी शपथ ली गयी और यात्रा का उद्देश्य बताया गया,, साथ ही खुरई न्यायालय अधिवक्तागणों एवं बीना न्यायलय अधिवक्तागण भी यात्रा में सम्मलित हुए।
यात्रा में मुख्य रूप से एड दीपक पौराणिक,एड अमित श्रीवास्तव,संतोष सेन,दुष्यन्त मिश्रा, गौरव यादव,मंजेश यादव,एड राहुल माथुर,एड राजेश बाथरी,एड नरेंद्र नारायण श्रीवास्तव,एड रामनरेश ठाकुर,एड देवस्कर सहित अनेक प्रबुद्ध जन सम्मलित हुए।


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अदालत में पहुचे भगवान, जज ने किया प्रणाम आये दिया आदेश

अदालत में पहुचे भगवान, जज ने किया प्रणाम आये दिया आदेश
टीकमगढ़।बुन्देलखण्ड अंचल में एक ऐसा मामला सामने आया जब भगवान जी को अदालत में साक्ष्य के लिए उपस्थित होना पड़ा। धूमधामसे पहुचे अदालत में । दरअसल  टीकमगढ़ जिले के पृथ्वीपुर थाना अंतर्गत ग्राम पंचायत वीरसागर में दस साल पहले प्रसिद्ध बिहारीजू महाराज मंदिर से मूर्तियों की चोरी मामले में बुधवार को स्वयं भगवान कोर्ट में पेश होना पड़ा। घटना के बाद चोरों के मूर्तियों के साथ पकड़े जाने के इस मामले में भगवान को साक्ष्य के रूप में पेश होना था। भक्तों के साथ जब भगवान कोर्ट पहुंचे तो जज ने पहले उन्हें नमन किया बाद में सत्यापन कर मूर्तियों को मंदिर में स्थापित करने का आदेश दिया।
ये है मामला
जानकारी के अनुसार थाना सिमरा मे राधाकृष्ण का प्राचीन मंदिर है। सन 14 जनवरी 2009 में बिहारी जू मंदिर की मूर्तियां चोरी हुई थी जिसकी रिपोर्ट पुलिस थाना में दर्ज की थी। चार आरोपितों के विरुद्ध मामला भी पंजीकृत किया गया। इसकी  मंदिर के पंडित रिंकू पुजारी ने पृथ्वीपुर थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी।पुलिस ने मामले का खुलासा किया और मूर्तियों की बरामदगी भी की गई जिन्हें मंदिर के पुजारी के सुपुर्द कर दी गई थी। आगे की कार्यवाही के लिए प्रकरण न्यायालय निवाड़ी में पेश किया गया।
अदालत में भगवान
न्यायालय ने भगवान को अदालत में बुला लिया। न्यायालय के आदेशानुसार बुधवार को सुबह से ही बिहारी जू मंदिर के भगवान साक्ष्य के लिए न्यायालय पहुंचने से पहले से ही मंदिर पर पूजा पाठ कर भगवान की आरती के बाद बिहारी जू महाराज को ग्राम वीरसागर होते हुए लाया गया।
बिहारी जू भगवान जब कोर्ट के लिए निकले तो भारी संख्या में श्रद्धालु उनके जुलूस में शामिल हो गए। आतिशबाजी और जयकारों के साथ बिहारी जू कोर्ट पहुंचे। इनके साथ काफी संख्या में ग्रामीणजन साथ रहे।  जहां पर बैठे न्यायाधीश ने पहले भगवान बिहारीजू को नमन किया और बारीकी से जानकारी ली और न्यायालीन कार्रवाई के बाद पुन: बिहारी जू भगवान वीरसागर पहुंचे। इस मामले में शासकीय अभियोजक अधिकारी विकास गर्ग ने बताया कि चोरी गई मूर्ति बरामद हुई थीं, इसलिए न्यायालय में साक्ष्य के रूप में प्रदर्शित होना था। न्यायधीश ने भगवान की मूर्तियों का सत्यापन कर मूर्तियों को यथास्थान रखने का आदेश न्यायालय द्वारा दिया गया।


 
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अनियमितताओं के कारण चार नगरीय निकायो के अध्यक्षो को पद से हटाया

अनियमितताओं के कारण  चार  नगरीय निकायो के अध्यक्षो को  पद से हटाया

भोपाल। राज्य शासन ने चार नगरीय निकाय के अध्यक्षों को कर्त्तव्य पालन में अक्षमता और विभिन्न अनियमितताओं में प्रथम दृष्टया उत्तरदायी पाए जाने पर पद से पृथक कर दिया है। इनमें नगर परिषद भानपुरा जिला मंदसौर की अध्यक्ष श्रीमती रेखा मांदलिया, नगर परिषद आरोन जिला गुना के अध्यक्ष श्री कृष्ण सिंह रघुवंशी, नगर परिषद गुढ़ जिला रीवा के अध्यक्ष श्री विष्णु प्रकाश मिश्रा और नगर पालिका होशंगाबाद के अध्यक्ष श्री अखिलेश खंडेलवाल शामिल हैं। पदच्युत अध्यक्षों को अगली पदाविधि में नगरीय निकाय के अध्यक्ष, उपाध्यक्ष अथवा किसी समिति के अध्यक्ष का पद धारण करने से भी निरहरित  कर दिया गया है ।
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