आधुनिक इन्फ्रास्ट्रक्चर के साथ विश्वविद्यालय प्रगति की दिशा में नई उड़ान भरने जा रहा है : कुलपति प्रो. नीलिमा गुप्ता
▪️शिक्षा मंत्रालय द्वारा विश्वविद्यालय को नये अकादमिक भवनों, स्वास्थ्य केंद्र, आईटी लैब, कन्वेंशन सेंटर और छात्रावासों के लिए 434.77 करोड़ रुपए स्वीकृत, वैली कैंपस में होगा निर्माण
तीनबत्ती न्यूज : 11 अप्रैल ,2025
सागर : डॉक्टर हरीसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर प्रगति की दिशा में नई उड़ान भरने जा रहा है. शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा विश्वविद्यालय को नये अकादमिक भवनों और छात्रावासों के लिए 434.77 करोड़ रुपए स्वीकृत किये गए हैं. इनमें इंस्टिट्यूट ऑफ़ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी भवन के निर्माण के लिए 99.71 करोड़, होटल एंड कैटरिंग मैनेजमेंट, इंस्टिट्यूट ऑफ़ हॉस्पिटलिटी एंड टूरिज्म मैनेजमेंट, वाणिज्य विभाग और प्रबंधन विभाग के एकीकृत भवन के लिए 67.60 करोड़, एक-एक हजार सीट की क्षमता वाले दो नए छात्रावास (एक बालक एवं एक कन्या छात्रावास) के लिए 194.50 करोड़, विश्वविद्यालय स्वास्थ्य केंद्र के लिए 15.42 करोड़, कंप्यूटर आधारित परीक्षा केंद्र, प्रयोगशाला, आईटी सेल एवं ऑनलाइन सेंटर के लिए 33.58 करोड़, बहु-उद्देश्यीय सम्मेलन केंद्र के लिए 23.96 करोड़ रुपए स्वीकृत किये गए हैं. इन सभी नए भवनों का निर्माण वैली कैम्पस में किया जाएगा.
शिक्षा मंत्रालय भारत सरकार, शास्त्री भवन, नई दिल्ली में संपन्न हुई बैठक में ये सभी प्रस्ताव स्वीकृत किये गए हैं. विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. नीलिमा गुप्ता ने बैठक में विश्वविद्यालय में उपलब्ध मौजूदा संसाधनों, छात्रों की संख्या छात्रावासों की संख्या, छात्रावासों की सुविधाओं का उल्लेख करते हुए विस्तृत पावर-पॉइंट प्रजेंटेशन दिया और अतिरिक्त इंफ्रास्ट्रक्चर और विद्यार्थियों के लिए इंफ्रास्ट्रक्चर की आवश्यकताओं को रेखांकित किया. उन्होंने वर्ष 2023 में विश्वविद्यालय को नैक द्वारा प्रदत्त ए प्लस ग्रेड, विश्वविद्यालय में अध्ययनरत विद्यार्थियों की संख्या, विश्वविद्यालय में संचालित पाठ्यक्रमों, शिक्षक और कर्मचारियों की संख्या, एकेडमिक बैंक ऑफ़ क्रेडिट के क्रियान्वयन में अग्रणी रहने और भारतीय सेना के महार रेजीमेंट के साथ हुए अकादमिक समझौता और अग्निवीरों को शैक्षणिक उन्नयन की दिशा में कार्य करते हुए उन्हें डिग्री प्रदान करने जैसी उपलब्धियों को रेखांकित किया.
विश्वविद्यालय के विशाल परिसर, विश्वविद्यालय की उपरोक्त उपलब्धियों और विभिन्न विषयों में विद्यार्थियों की लगातार बढ़ती संख्या, विविधता, विद्यार्थियों हेतु बढ़ती छात्रावासों की आवश्यकता, आधुनिक सुविधाओं के साथ अकादमिक भवनों की आवश्यकता, आधुनिक स्वास्थ्य केंद्र, आईटी केंद्र, कम्प्यूटर सेंटर, बहु-उद्देशीय सम्मेलन केंद्र आदि की आवश्यकता पर विचार करते हुए मंत्रालय द्वारा सभी प्रस्ताव स्वीकृत किये गये हैं.
कुलपति प्रो. नीलिमा गुप्ता ने इस उपलब्धि को साझा करते हुए कहा कि विश्वविद्यालय लगातार अपने परिसर का विस्तार करता जा रहा है. वर्तमान में कई नवीन अकादमिक भवन, एकीकृत लैब और अन्य कई विभागों के विस्तारित भवन बनकर तैयार हो चुके हैं. शिक्षा मंत्रालय, भारत सरकार ने 434.77 करोड़ रुपए के निर्माण की नवीन परियोजनाओं को मंजूरी दी है. विश्वविद्यालय प्रगति की दिशा में नई उड़ान भरने जा रहा है. हम उत्कृष्ट अकादमिक प्रदर्शन के साथ ही हम आधुनिक इंफ्रास्ट्रक्चर एवं संसाधन युक्त विश्वविद्यालयों में भी हम सर्वश्रेष्ठ होंगे. छात्रावासों की कमी के कारण विद्यार्थियों को काफी समस्या होती थी. अब इन दो नए छात्रावासों के बन जाने से छात्र-छात्राओं को काफी सुविधा होगी. विद्यार्थियों के मामले में हमारा विश्वविद्यालय एक तरह से पूर्णतः आवासीय विश्वविद्यालय बनने की ओर अग्रसर है. विद्यार्थियों, शिक्षकों एवं कर्मचारियों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिल सकें यह हमारी प्राथमिकता में था. इसी उद्देश्य से एक आधुनिक स्वास्थ्य केंद्र भी बनकर तैयार होगा. आई टी सेंटर और कम्प्यूटर लैब बनने के बाद विश्वविद्यालय में कम्प्यूटर बेस्ड परीक्षाओं का एक प्रतिबद्ध केंद्र भी बनेगा. इस केंद्र के माध्यम से विद्यार्थियों को कई अन्य तकनीकी प्रशिक्षण एवं सहयोग भी मिलेगा. पूरा का पूरा कॉमर्स एवं मैनेजमेंट विभाग अब एक बड़े भवन में संचालित हो सकेगा जिससे इन दोनों विषयों के शिक्षकों, विद्यार्थियों को अध्ययन-अध्यापन में काफी सुविधा होगी. बहु-उद्देशीय सम्मेलन केंद्र में एक वृहद् सभागार के साथ-साथ कई छोटे कांफ्रेंस हॉल, कमेटी कक्ष, शॉपिंग काम्प्लेक्स इत्यादि होंगे जो विद्यार्थियों, शिक्षकों एवं सभी विभागों एवं केन्द्रों की आवश्यकताओं को पूर्ण करेंगे.
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