Editor: Vinod Arya | 94244 37885

प्रधानमंत्री की डिजिटल एग्रीकल्चरक्रांति से बदल रही है किसानों की हालत : केंद्रीय राज्य मंत्री प्रहलाद पटेल



प्रधानमंत्री की डिजिटल एग्रीकल्चर
क्रांति से बदल रही है किसानों की हालत : केंद्रीय राज्य मंत्री प्रहलाद  पटेल



नई दिल्ली 14 दिसंबर 2022।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किसानों के हाथों में आधुनिक डिजिटल तकनीक देकर उन्हें ताकतवर और क्षमतावान बनाया है। इस तकनीक के जरिए किसानों को कई तरह की परेशानियों से बचाया गया। लूट-भ्रष्टाचार और बिचौलियों से किसान मुक्त हुए। यह जानकारी केन्द्रीय खाद्य प्रसंस्करण जल शक्ति राज्यमंत्री श्री प्रहलाद सिंह पटेल ने आज मध्यप्रदेश भवन नई दिल्ली में मिडिया को दी। श्री पटेल ने बताया कि सरकार की सहायता राशि सीधे किसानों तक पहुंचने लगी है। किसान को सरकार ने कारोबार करने के नए नए मौके मुहैया कराए है। बीज से बाजार तक किसान के लिए नई अवधारणा बनाई गई। भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया डिजिटल एग्रीकल्चरल मिशन चमत्कार साबित हुआ है। इस मिशन ने किसान की परिस्थितयों को बदलने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा की है।
श्री पटेल ने बताया कि ई-नाम मंडी के जरिए 1.74 करोड़ से अधिक किसानों को जोड़ा गया। 2.36 लाख ट्रेड पंजीकृत ई-नाम के जरिए किए गए। और 2.22 लाख करोड़ रू. का व्यापार दर्ज किया गया। प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना से 11.37 करोड़ किसान लाभांवित हुए। इन किसानों के खाते में 2.16 लाख करोड़ रूपए जमा कराए गए। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना-डिजिटल क्रांति के बाद किसानों को इस योजना में भी काफी लाभ मिला। सैटेलाइट के जरिए किसानों की फसल की देखभाल की गई। कोई विवाद हुआ तो सुलझा लिया गया। 2021-22 में 16 हजार करोड़ रूपए आवंटित हुए। 2016 से 2022 तक 38 करोड़ किसान इस योजना में पंजीकृत किए गए और एक लाख 28 हजार 522 करोड़ रूपए से अधिक क्लेम का भुगतान किया गया। जबकि 25 हजार 185 करोड़ रूपए किसानों द्वारा बीमा प्रीमियम के रूप में दिए गए। किसान उत्पादक संघ के तहत 3855 से भी ज्यादा एफपीओ रजिस्टर्ड किए गए। सॉयल हेल्थ कार्ड के अंतर्गत 22.71 करोड़ कार्ड बनाए गए। 11 हजार 531 टेस्टिंग प्रयोगशालाएँ मंजूर की गई।

प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना  की राशि में इजाफा

 केंद्रीय मंत्री श्री पहलाद पटेल के अनुसार प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत यूपीए के समय में 6057 करोड़ थी। इस योजना में करीब 136 फीसदी (15,511) इजाफा किया गया। माइक्रो इरीगेशन फंड के तहत 17.09 लाख हेक्टेयर क्षेत्र को कवर करते हुए 4710.96 करोड़ की परियोजनाओं को मंजूरी दी गई। पांच हजार करोड़ रूपए की प्रारंभिक राशि से नाबार्ड में एक सूक्ष्म सिंचाई कोष बनाया गया है। कार्पस फंड 10 हजार करोड़ रूपए का रखा गया है। इसके अलावा कृषि ऋण प्रवाह यूपीए के समय में 7.3 लाख करोड़ रूपए था जो बढ़कर 18.5 लाख करोड़ रूपए (2022-23) में किया गया। किसान क्रेडिट कार्ड योजना के तहत यूपीए के समय में 6.46 करोड़ किसान थे लेकिन अब 9.28 करोड़ किसान इसका लाभ ले रहे हैं। यूपीए के समय 5 लाख करोड़ बजट था जो अब बढ़कर 16.57 लाख करोड़ है।
उन्होंने बताया कि खाद सब्सिडी (फर्टिलाइजर)  यूपीए के समय में 41,853 करोड़ रू. थी। मोदी सरकार द्वारा 62,151 करोड़ ,यूरिया पर और 40,073 करोड़ नॉन यूरिया पर दी गई। नीम कोटेड यूरिया में नीम कोट से करीब 15 से 20 फीसदी यूरिया की क्षमता बढ़ जाती है। किसान रेल की अवधारणा मोदी सरकार ने शुरू की। इस योजना में 167 रूट्स पर 2359 रेलों के फेरे लगे। और 7.88 लाख टन से ज्यादा किसानों का कृषि उत्पाद ढोया गया। किसान उड़ानके तहत 33 कार्गो टर्मिनल्स से 12 से ज्यादा कृषि उत्पादों को एक जगह से दूसरी जगह ले जाया गया।

डिजिटल क्रांति के बाद किसानों को बैंको के चक्कर लगाना बंद 

 उन्होंने बताया कि डिजिटल क्रांति के बाद किसानों को बैंको के चक्कर लगाना बंद हो गए। एक ही जगह से उनके खातों की जांच हो सकती है। अब हर बैंक से जाकर एनओसी लाने का काम बंद हुआ। एक समय हम सभी को याद है कि जब हमारी यह हालत थी कि अनाज बचाने के लिए देश को एक दिन का उपवास रखने की बात कही गई थी। लेकिन अब हालत बदल गए हैं। अब हम निर्यात कर रहें है। मोटा अनाज हो या फिर, चांवल, चीनी, दूध हम निर्यात में नए रिकार्ड बना रहे हैं। भारत सरकार की अगुआई में एग्री स्टार्ट अप एक नया इतिहास रच रहा है। पहले कृषि क्षेत्र में केवल 100 स्टार्ट-अप काम कर रहे थे। लेकिन पिछले सात आठ सालों में यह आकड़ा बढ़कर चार हजार से ज्यादा हो गया है। पहले केवल दो बड़े फूड पार्क थे. लेकिन अब इनकी संख्या 23 हो गई है।

एथेनॉल से कारें चल सकें, अपशिष्ट और गोबर से बायो-सीएनजी पर हो रहा है काम

मंत्री प्रहलाद पटेल ने कहा कि एथेनॉल से कारें चल सकें, अपशिष्ट और गोबर से बायो-सीएनजी , बायोगैस तैयार हो, इसके लिए काम चल रहा है। वर्ष 2021-22 तक भारत ने समय सीमा से काफी पहले 10 प्रतिषत इथेनॉल ब्लेंडिंग टारगेट को हासिल कर लिया है। इसके परिणामस्वरुप किसानों को 40,600 करोड़ रुपये से अधिक का समय पर भुगतान किया गया है।
केन्द्रीय राज्य मंत्री श्री पटेल के अनुसार निर्यात में रिकार्ड- विभिन्न संस्थानों द्वारा जारी की गई रिपोर्ट्स में साफ जाहिर होता है कि किसानों की कुल मुद्रास्फीति-समायोजित आय में दो गुना इजाफा हुआ है या कई राज्यों में यह लगभग दो गुना हुई है। आज भारत विश्व में सर्वाधिक कृषि उपज के उत्पादन के मामले में पहले या दूसरे स्थान पर रहता है। जबकि 3.75 लाख करोड़ मूल्य की कृषि उपज का रिकॉर्ड निर्यात किया गया। किसान मान धन योजना से 23 लाख किसानों को फायदा हुआ। कृषि इंफ्रा फंड से एक लाख करोड़ का आवंटन हुआ है। ड्रोन तकनीक में एसओपी जारी की गई है। इसका लाभ भी हमारे किसानों को मिलेगा।                      

_____________________________

एडिटर: विनोद आर्य
________
+91 94244 37885

तीनबत्ती न्यूज़. कॉम की खबरे पढ़ने
  NEW फेसबुक पेज  और ट्वीटर से जुड़ने  लाईक / फॉलो करे





ट्वीटर  फॉलो करें

वेबसाईट



______________________________

Share:

Related Posts:

0 comments:

एक टिप्पणी भेजें

www.Teenbattinews.com