28 लाख से अधिक की राशि का गबन करने वाले लिपिक को 10 वर्ष का सश्रम कारावास, ईओडब्ल्यू सागर की कार्रवाई
सागर। आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ सागर के अपराध क्रमांक 9/2009 में आरोपी जिला पंचायत कार्यालय दमोह के लिपिक श्रेणी सहायक ग्रेड 2 कालूराम पटेल को 28 लाख 54 हजार 196 रूपए की शासकीय राशि का गबन करने पर 10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 10 हजार रुपए के अर्थदंड से माननीय न्यायालय दमोह द्वारा दंडित किया गया।
उल्लेखनीय है कि आरोपी कालूराम पटेल जिला पंचायत दमोह में सहायक ग्रेड -2 निम्न श्रेणी लिपिक के पद पर पदस्थ रहते हुए डीआरडीए एवं स्टोर मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम समूह बीमा योजना एवं अन्य समय - समय पर सौंपे गये कार्यों का निर्वाहन करते हुए वर्ष 2007-08 में आरोपी द्वारा जिला दमोह की विभिन्न बैंकों में फर्जी खाते खोलकर सीईओ जनपद पंचायत जबेरा, बटियागढ़, दमोह के फर्जी हस्ताक्षर कर 28 लाख 54 हजार 196 रुपए की राशि आहरित कर गबन किया गया। जिसकी प्राथमिकी रिपोर्ट राज्य आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ , मुख्यालय भोपाल में दिनांक 11 मई 2009 को अपराध क्रमांक 09ध्2009 धारा 409, 420, 467, 468, 471 भादवि , 13 (1), 13 (2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 के अंतर्गत पंजीबद्ध किया गया था । जिसमें विवेचना उपरांत अभियोग पत्र कालूराम पटेल के विरुद्ध प्रस्तुत किया गया । विशेष न्यायाधीश भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम दमोह द्वारा विचारण उपरांत दिनांक 21 जनवरी 2021 को निर्णय पारित करते हुए पूर्वोल्लिखित धाराओं में आरोपी कालूराम पटैल को दोषसिद्धि पाते हुए धारा 409 , 467 और 471 में 10-10 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 10-10 हजार रूपये के अर्थदण्ड से तथा धारा 420 और 468 में 5-5 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से एवं भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13 ( 10 , 13 ( बी ) में पांच वर्ष के सश्रम कारावास एवं 5 हजार रूपए के जुर्माने से दण्डित किया गया है ।
उक्त्त प्रकरण में आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ, सागर पुलिस अधीक्षक दिलीप सिंह तोमर द्वारा प्रकरण में पर्यवेक्षणकर्ता, निरीक्षक श्रीमती उमा नवल आर्य, प्रकोष्ठ इकाई सागर पैरवीकर्ता , हेमंत कुमार पाण्डे , सहायक जिला अभियोजन अधिकारी ने पैरवी एवं कुमारी रोशनी सोनी , स्टेनो . श्री अतुल पंथी , सउनि ( अ ) , रामसजीवन यादव , आरक्षक का उक्त प्रकरण में महत्तवपूर्ण योगदान रहा ।
सागर। आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ सागर के अपराध क्रमांक 9/2009 में आरोपी जिला पंचायत कार्यालय दमोह के लिपिक श्रेणी सहायक ग्रेड 2 कालूराम पटेल को 28 लाख 54 हजार 196 रूपए की शासकीय राशि का गबन करने पर 10 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 10 हजार रुपए के अर्थदंड से माननीय न्यायालय दमोह द्वारा दंडित किया गया।
उल्लेखनीय है कि आरोपी कालूराम पटेल जिला पंचायत दमोह में सहायक ग्रेड -2 निम्न श्रेणी लिपिक के पद पर पदस्थ रहते हुए डीआरडीए एवं स्टोर मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम समूह बीमा योजना एवं अन्य समय - समय पर सौंपे गये कार्यों का निर्वाहन करते हुए वर्ष 2007-08 में आरोपी द्वारा जिला दमोह की विभिन्न बैंकों में फर्जी खाते खोलकर सीईओ जनपद पंचायत जबेरा, बटियागढ़, दमोह के फर्जी हस्ताक्षर कर 28 लाख 54 हजार 196 रुपए की राशि आहरित कर गबन किया गया। जिसकी प्राथमिकी रिपोर्ट राज्य आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ , मुख्यालय भोपाल में दिनांक 11 मई 2009 को अपराध क्रमांक 09ध्2009 धारा 409, 420, 467, 468, 471 भादवि , 13 (1), 13 (2) भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 के अंतर्गत पंजीबद्ध किया गया था । जिसमें विवेचना उपरांत अभियोग पत्र कालूराम पटेल के विरुद्ध प्रस्तुत किया गया । विशेष न्यायाधीश भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम दमोह द्वारा विचारण उपरांत दिनांक 21 जनवरी 2021 को निर्णय पारित करते हुए पूर्वोल्लिखित धाराओं में आरोपी कालूराम पटैल को दोषसिद्धि पाते हुए धारा 409 , 467 और 471 में 10-10 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 10-10 हजार रूपये के अर्थदण्ड से तथा धारा 420 और 468 में 5-5 वर्ष के सश्रम कारावास एवं 5-5 हजार रूपये के अर्थदण्ड से एवं भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की धारा 13 ( 10 , 13 ( बी ) में पांच वर्ष के सश्रम कारावास एवं 5 हजार रूपए के जुर्माने से दण्डित किया गया है ।
इनकी भूमिका रही
उक्त्त प्रकरण में आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ, सागर पुलिस अधीक्षक दिलीप सिंह तोमर द्वारा प्रकरण में पर्यवेक्षणकर्ता, निरीक्षक श्रीमती उमा नवल आर्य, प्रकोष्ठ इकाई सागर पैरवीकर्ता , हेमंत कुमार पाण्डे , सहायक जिला अभियोजन अधिकारी ने पैरवी एवं कुमारी रोशनी सोनी , स्टेनो . श्री अतुल पंथी , सउनि ( अ ) , रामसजीवन यादव , आरक्षक का उक्त प्रकरण में महत्तवपूर्ण योगदान रहा ।
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