कमिश्नर आनंद शर्मा का अभिनंदन एवं विदाई समारोह संपन्न।
सागर। कमिश्नर सागर के रूप में पदस्थ रहे बहुआयामी व्यक्तित्व के धनी और सागर में अपने अल्प कार्यकाल में ही अपनी विशिष्ट कार्यशैली एवं मृदुल व्यवहार से लोकप्रिय रहे श्री आनंद शर्मा आई.ए.एस.के उज्जैन कमिश्नर के रूप में पदस्थापना होने पर उनका अभिनंदन एवं विदाई समारोह आयोजित किया गया। आयोजक संस्था पं. पी.एन.भट्ट ज्योतिष शोध एवं समाज सेवार्थ ट्रस्ट सागर के तत्वावधान में आयोजित हुए इस कार्यक्रम में नगर की विभिन्न संस्थाओं द्वारा श्री शर्मा को विदाई दी गई।कार्यक्रम की अध्यक्षता श्रीमंत धर्मेंद्र सेठ अध्यक्ष पारसनाथ ब्रह्मचर्य जैन गुरुकुल खुरई ने की।इस अवसर पर स्वतंत्रता संग्राम सेनानी शिवशंकर केसरी,सरस्वती वाचनालय ट्रस्ट के सचिव पं.शुकदेव प्रसाद तिवारी,बुंदेलखंड हिंदी साहित्य एवं संस्कृति विकास मंच सागर के महामंत्री मणीकांत चौबे एवं नगर की प्रतिष्ठित संस्था श्यामलम् के अध्यक्ष उमा कान्त मिश्र को उनके द्वारा विभिन्न क्षेत्रों में दिए गए योगदान के लिए सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम का प्रारंभ मां सरस्वती के पूजन अर्चन व दीप प्रज्ज्वलन पश्चात एम.डी. त्रिपाठी द्वारा सरस्वती वंदना से हुआ। प्रसिद्ध लोक गायक शिवरतन यादव ने ईसुरी की चौकड़िया का गायन कर सभी को मंत्रमुग्ध कर दिया। आयोजक संस्था के अध्यक्ष पी एन भट्ट ने स्वागत उद्बोधन देते हुए श्री शर्मा के सागर कमिश्नर के रूप में अल्पावधि कार्यकाल को उत्कृष्ट बताते हुए उन्हें एक संवेदनशील और जनप्रिय प्रशासनिक अधिकारी बताया। उन्होंने कहा कि आज जिन संस्थाओं का सम्मान इस मंच से किया जा रहा है वे सभी विगत कई वर्षों से दूसरों का सम्मान करते रहे हैं। ऐसे व्यक्तियों को सम्मानित कर मैं संतुष्टि
और गौरव का अनुभव करता हूं।
सर्वप्रथम श्यामलम् संस्था की ओर से कमिश्नर श्री शर्मा का अभिनंदन संरक्षक प्रोफ़ेसर सुरेश आचार्य,अध्यक्ष उमाकांत मिश्र,सचिव कपिल बैसाखिया,कुंदन पाराशर व रमाकांत शास्त्री ने शाल,श्रीफल व पुष्पहार एवं अभिनंदन पत्र भेंट कर किया।डॉ.नलिन जैन ने काव्य अभिनंदन पत्र का वाचन किया। तदुपरांत आयोजक संस्था के सभी सदस्यों द्वारा श्री शर्मा का शाल, श्रीफल, पुष्पहार व अभिनंदन पत्र भेंट कर उनका स्वागत किया गया। अध्यक्ष पं. पी.एन.भट्ट ने अभिनंदन पत्र का वाचन किया।इसके अलावा तुलसी अकादमी,म.प्र.लेखक संघ,हिंदी उर्दू मजलिस, सरस्वती वाचनालय एवं पुस्तकालय स्वतंत्रता संग्राम सेनानी संघ बुंदेलखंड हिंदी साहित्य संस्कृति मंच, मध्य प्रदेश हिंदी साहित्यकार सम्मेलन आदि संस्थाओं द्वारा भी कमिश्नर शर्मा को सम्मान पूर्वक विदाई दी गई।
प्रमुख वक्ता प्रो.सुरेश आचार्य ने ज्योतिष शास्त्र का महत्व प्रतिपादित करते हुए पं.पी एन भट्ट की साधना को अनुकरणीय कहा साथ ही उनके द्वारा आयोजित इस सम्मान समारोह की भूरि-भूरि प्रशंसा की।
कार्यक्रम के केंद्र बिंदु मुख्य अतिथि श्री आनंद शर्मा कमिश्नर उज्जैन ने अपने उद्बोधन में सागर में बिताए हुए समय को अपने जीवन के स्मरणीय कॉलखंड के रूप में रेखांकित करते हुए कहा कि मैं अपने स्वागत से अभिभूत हूं।उन्होंने पं.पी.एन. भट्ट द्वारा किए जा रहे ज्योतिष शोध तथा समाज एवं साहित्य के हित में किए जा रहे कार्यों को अद्भुत व प्रेरणास्पद बताया। उन्होंने अपने उज्जैन स्थानांतरण का विवरण बड़े रोचक ढंग से श्रोताओं के समक्ष रखा। साहित्य प्रेमी और कवि ह्रदय कमिश्नर शर्मा ने इस अवसर पर स्वरचित कविता का पाठ भी किया। अध्यक्षीय उद्बोधन में श्रीमंत धर्मेंद्र सेठ ने कार्यक्रम को गरिमामय बताते हुए उल्लेखित किया कि शासकीय अधिकारियों के स्थानांतरण पर इस स्तर के विदाई और सम्मान कार्यक्रम होते रहना चाहिए। इस तरह के आयोजनों में साहित्यिक सांस्कृतिक संस्थाओं की उपस्थिति संबंधित अधिकारी की लोकप्रियता को प्रमाणित करती हैं।
कवि वृंदावन राय सरल और पूरन सिंह राजपूत ने काव्य पाठ किया।
कार्यक्रम का गरिमा अनुरूप संचालन बृज बिहारी उपाध्याय ने किया।आभार प्रदर्शन करते हुए अंबर चतुर्वेदी चिंतन ने शायर वसीम बरेलवी के शेर "जहां भी जाएगा रोशनी लुटाएगा, किसी चिराग का अपना मकां नहीं होता" से कमिश्नर शर्मा के कार्यकाल को याद किया।
इस अवसर पर डॉ.महेश तिवारी, सेठ सुरेश जैन,डॉ.सुशील तिवारी,डॉ.राजेश दुबे,रामनाथ यादव, प्रदीप पाठक,सुबोध मलैया,श्याम तिवारी,नितिन शर्मा, डॉ. शैलेष आचार्य,विमल जैन,नेवी जैन,प्रदीप पांडे,यू.बी.एस.गौर,प्रदीप राय,इं.एस. आर.सिंह,श्रीमती शैलबालासुनरया,अर्चना तिवारी,अनीता शर्मा,अदिति भट्ट,शैलेन्द्र भट्ट,सरदार गुरुदेव जग्गी,अरुण मोदी एडवोकेट खुरई,अनिल शर्मा,आर.एस. मिश्रा,डॉ.विनोद तिवारी,हरीश खत्री सहित बड़ी संख्या में लोग उपस्थित थे।
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