मिलावटी खोवा बेचने वाले दो आरोपियों को एक-एक वर्ष का कारावास,सागर की एक होटल का मामला

मिलावटी खोवा बेचने वाले दो आरोपियों को एक-एक वर्ष का कारावास,सागर की एक होटल का मामला
सागर। गुजराती बाजार स्थित अपने होटल से मिलावटी खोवा बेचने वाले दो आरोपियों को न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी रवि कुमार बौरासी जिला सागर की अदालत ने दोषी करार देते हुए एक-एक वर्ष के सश्रम कारावास और अर्थदण्ड की सजा से दंडित किया है।
जिला लोक अभियोजन के मीडिया प्रभाकरी ब्रजेश दीक्षित ने बताया कि दिनांक 30.10.2010 को खाद्य निरीक्षक राकेश कुमार अहिरवाल ने विभाग की टीम के साथ गुजराती बाजार स्थित शिमला होटल निरीक्षण करते हुए खोवा का सेंपल लिया। सेंपल को जांच के लिए भेजा गया। इस मामले में शिमला होटल के संचालक आरोपी श्रीकांत केशरवानी पुत्र हरिशंकर केसरवानी एवं राजकुमार केशरवानी पुत्र हरिशंकर केसरवानी के विरूध मामला दर्ज चालान न्यायालय में प्रस्तुत किया गया। विचारण उपरांत न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी रवि कुमार बौरासी जिला सागर की अदालत ने  दोनों आरोपियों को अपमिश्रित खाद्य पदार्थ के विक्रय का दोषी पाते हुए खाद्य अपमिश्रण निवारण अधिनियम 1954 की धारा 16(1)(ए)(1) में दोषी करार देते हुए एक-एक वर्ष के सश्रम कारावास और 2-2 हजार रूपए अर्थदण्ड की सजा से दंडित किया है। मामले की पैरवी अभियोजन की ओर से एडीपीओ प्रियंका जैन सीनियर ने की।
छेडछाड के आरोपी को एक वर्ष का कारावास
सागर। घर में घुसकर महिला से छेडछाड करने वाले एक आरोपी को विशेष न्यायाधीश नीलू संजीव श्रंृगीऋषि सागर की अदालत ने दोषी करार देते हुए अलग-अलग धाराओं में दंडित करते हुए एक वर्ष के सश्रम कारावास और अर्थदण्ड की सजा से दंडित किया है।
जिला लोक अभियोजन के मीडिया प्रभारी ब्रजेश दीक्षित ने बताया कि दिनांक 15.04.2019 की शाम आरोपी तेजेन्द्र उर्फ टिंकू लोधी पिता मुन्नालाल उम्र 23 वर्ष निवासी ग्राम सलैया थाना सानौधा ने फरियादिया के घर में घुसकर बुरी नीयत से उसका हाथ पकड लिया। विरोध करने पर आरोपी ने फरियादिया को थप्पड मारते हुए भाग गया। घटना की सूचना फरियादिया ने परिजनों को दी जिसके बाद सूचना पर थाना पुलिस ने आरोपी के विरूध मामला दर्ज करते हुए चालान न्यायालय में पेश किया। जहां विचारण उपरांत विशेष न्यायाधीश नीलू संजीव श्रंृगीऋषि सागर की अदालत ने आरोपी तेजेन्द्र को को दोषी करार देते हुए भादवि की धारा 452 में एक वर्ष का सश्रम कारावास, एक हजार रूपए अर्थदण्ड, धारा 354 ए (1) में एक वर्ष का सश्रम कारावास, एक हजार अर्थदण्ड एवं धारा 323 में न्यायालय उठने तक की सजा ओर एक हजार रूपए अर्थदण्ड की सजा से दंडित किया है। मामले की पैरवी अभियोजन की ओर से डीपीओ राजीव रूसिया ने की।
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